धरती पर अनेक प्रकार के जीव-जंतु पाये जाते हैं

इनमें से कुछ जानवर तो ऐसे है जो अपना पॉटी खुद ही खा लेते हैं

खरगोस- ये अपना पॉटी खाते हैं

जिसे ऑटोकॉर्पोफेजी कहा जाता है

जिससे उनका पाचन विकसित होता है

खरगोश का पाचन तंत्र अधिक विकसित नहीं होता है

इसलिए खरगोश अपनी पॉटी को खाकर जरूरी पोषक तत्वों को दोबारा पचाते हैं

ऐसे में गिनी पिग भी अपना ही पॉटी खा लेता है

इनके साथ छोटे चूहे भी शामिल हैं

ऐसा करके वो अपने भोजन से पोषक तत्वों को दोबारा पचाते हैं.