UP Lok Sabha Chunav 2024: देश में हमेशा देखा जाता है कि चुनाव के दौरान कई नेता अपनी पार्टी बदलकर दूसरे दल में चले जाते हैं. फिर उस पार्टी से टिकट भी प्राप्त कर लेते हैं और चुनावी मैदान में उतरते हैं. ऐसा एक बार फिर से लोकसभा चुनाव से पहले देखा जा रहा है. उत्तर प्रदेश के लिए कांग्रेस की पहली सूची में सहारनपुर से इमरान मसूद और बांसगांव से सदल प्रसाद का नाम है. इमराम मसूद ने समाजवादी पार्टी (सपा) से बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और फिर कांग्रेस तक का सफर तय किया है. वहीं, सदल प्रसाद बसपा से कांग्रेस में आए.


दानिश अली, जिन्हें अमरोहा से उम्मीदवार बनाया गया है, उन्होंने दो महीने पहले बसपा छोड़ दी थी और एक पखवाड़े पहले कांग्रेस में शामिल हो गए थे. लोकसभा चुनाव के लिए राजनीतिक पार्टियां अपने प्रत्याशियों की लिस्ट जारी कर रहे हैं. समाजवादी पार्टी की पहली सूची में अफजल अंसारी का नाम शामिल है, जो 2019 में बसपा के टिकट पर लोकसभा के लिए चुने गए थे. अफजल अंसारी जेल में बंद गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी के भाई हैं और वह गाजीपुर सीट से चुनाव लड़ेंगे. बस्ती से चुनाव लड़ रहे राम प्रसाद चौधरी भी बसपा से हैं, जबकि अकबरपुर से सपा प्रत्याशी राजाराम पाल भी बसपा से सपा में आए. वो कुछ समय तक कांग्रेस में थे.


क्या कहते हैं राजनीतिक विश्लेषक 
इसी तरह उन्नाव से अन्नू टंडन और मोहनलालगंज से आरके चौधरी दोनों सपा से कांग्रेस में आये. बीजेपी की सूची में भी दलबदलू नेताओं की हिस्सेदारी है- जितिन प्रसाद, जो पीलीभीत से चुनाव लड़ रहे हैं, कांग्रेस से आए हैं. डुमरियागंज के मौजूदा सांसद जगदंबिका पाल, जो वर्षों पहले कांग्रेस छोड़ चुके हैं, बीजेपी के साथ हैं.


एक वरिष्ठ राजनीतिक विश्लेषक आर के सिंह ने कहा कि समर्पित पार्टी कार्यकर्ताओं पर दलबदलुओं को तरजीह देने की प्रवृत्ति कार्यकर्ताओं को कमजोर कर रही है, जो लोग पार्टियों के लिए काम करते हैं, उन्हें आसानी से उन दलबदलू लोगों के पक्ष में किनारे कर दिया जाता है, जिनके लिए पार्टियां बदलना एक राजनीतिक व्यवसाय हैं.


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