पटना: 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की सरकार ने इस साल पहली बार पांच शख्सियतों को भारत रत्न (Bharat Ratna) देने की घोषणा की है. इनमें बीजेपी के वरिष्ठ नेता व पूर्व गृहमंत्री लालकृष्ण आडवाणी, हरित क्रांति के जनक एमएस स्वामीनाथन, पूर्व प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव, पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह, बिहार के जननायक नाम से प्रसिद्ध पूर्व मुख्यमंत्री कर्पूरी ठाकुर शामिल हैं. अब अन्य शख्सियतों को भी भारत रत्न देने की मांग उठने लगी है.


मंगलवार (20 फरवरी) को बिहार विधानसभा में बीजेपी के विधायक ललन कुमार ने पूर्व मंत्री और पूर्व केंद्रीय मंत्री के साथ दलित नेता के रूप में पहचान रखने वाले रामविलास पासवान को मरणोपरांत भारत रत्न देने की मांग की है. बीजेपी विधायक ने सदन में मांग की है कि केंद्र सरकार को सिफारिश की जाए और रामविलास पासवान को मरणोपरांत भारत रत्न मिले.


पीरपैंती विधानसभा से बीजेपी विधायक ललन कुमार ने बिहार विधानसभा में अपनी मांग को रखते हुए कहा, "मैं बिहार सरकार से मांग करता हूं कि झोपड़ी से सदन तक गरीबों के लिए मशाल जलाने वाले, दलित, आदिवासी, पिछड़े और वंचितों के नेता, राष्ट्रीय राजनीति के सितारे पद्म विभूषण पूर्व केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान को मरणोपरांत भारत रत्न से सम्मानित करने के लिए भारत सरकार से सिफारिश करे."


ललन कुमार की मांग पर पार्टी ने दिया धन्यवाद


विधायक ललन कुमार की इस मांग पर लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रवक्ता विनित सिंह ने उन्हें धन्यवाद दिया. कहा कि यह मांग उठानी चाहिए थी और निश्चित रूप से रामविलास पासवान को भारत रत्न से सम्मानित किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि रामविलास पासवान दूसरे आंबेडकर के रूप में जाने जाते हैं. उन्होंने दलित और शोषित लोगों को न सिर्फ उठाने का काम किया बल्कि सामान्य वर्ग के लोगों में भी दबे-कुचले लोगों को ऊपर उठाने का काम किया है. वह देश के एक नायक के रूप में थे. उन्हें भारत रत्न अवश्य मिलना चाहिए. ललन कुमार को मैं तहे दिल से धन्यवाद देता हूं कि उन्होंने आज बिहार विधानसभा में इसकी पहल की है.


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