केंद्र सरकार के संस्कृति मंत्रालय ने पूर्व प्रधानमंत्रियों के लिए संग्रहालय बनाने का निर्णय लिया है, जिसका काम अंतिम दौर में है. अगले महीने की 14 अप्रैल को इस संग्रहालय का शुभारंभ किया जाएगा. इसकी चर्चा तब शुरू हो गई, जब आज पीएम नरेंद्र मोदी ने बीजेपी संसदीय दल की बैठक में संग्रहालय का जिक्र करते हुए कहा कि हम सभी का सम्मान करते हैं, किसी के बीच भेदभाव नहीं करते. 


मोदी सरकार पर पहले ही देश के महापुरुषों को अपना बनाने का आरोप लगता रहा है. इस बीच पीएम मोदी ने देश के प्रधानमंत्रियों के लिए संग्रहालय बनाए जाने का जिक्र कर राजनीति तेज कर दी है. 


दरअसल, केंद्र सरकार का संस्कृति मंत्रालय तीन मुर्ति स्थिति नेहरू केंद्र में एक संग्रहालय तैयार किया है, जिसमें अब तक रहे देश के सभी प्रधानमंत्रियों की स्मृतियों को संग्रहित किया गया है. प्रधानमंत्रियों की तश्वीरों, मूर्तियों और मीडिया में छपी रिपोर्टों के आधार पर प्रधानमंत्रियों के बारे में विस्तार से बताया गया है. इस संग्रहालय का काम फिलहाल अंतिम दौर में है. अगले महीने की 14 अप्रैल को बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की जयंती पर इस संग्रहालय का उद्घाटन देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे. 


ये प्रोजेक्ट 270 करोड़ रुपये का है, जिसे साल 2018 में मंजूरी मिली थी. अक्टूबर 2020 तक इसे पूरा होना था, लेकिन बार-बार में इसमें देरी होती गई. इससे पहले केंद्र सरकार ने इसका  उद्घाटन करने के लिए दो तारीखों के बारे में सोचा था. पहला 25 दिसंबर, पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहार वाजपेयी की जयंती, जिसे सुशासन दिवस के रूप में भी मनाया जाता है  और दूसरा 26 जनवरी, गणतंत्र दिवस. 


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