Moonlighting In IT Industry: एक तरफ मूनलाइटिंग को लेकर हायतौबा मचा है. वहीं दूसरी ओर सूचना प्रोद्यौगिकी राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर ने मूनलाइटिंग का बचाव किया है. उन्होंने कहा कि कंपनियों को अपने एम्पलॉयज के सपनों को खत्म करने की कोशिश नहीं करनी चाहिए. राजीव चंद्रशेखर ने कहा कि आज के युवाओं में आत्मविश्वास और उद्देश्य की भावना है अपने स्वयं के कौशल को मूल्यवान बनाते हुए ज्यादा पैसा बनाना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि जो कंपनियां अपने कर्मचारियों को नीचा दिखाना चाहते हैं और कहते हैं कि आपको अपने स्टार्ट-अप पर काम नहीं करना चाहिए उनका विफल बर्बादी तय है. 


पब्लिक अफेयर्स फोरम ऑफ इंडिया (PAFI) के 9वें वार्षिक फोरम 2022 में राजीव चंद्रशेखर ने कहा कि, कोई भी कैप्टिव मॉडल फीका पड़ जाएगा. एम्पलॉयर उम्मीद करते हैं कि कर्मचारी उनकी सेवा करते समय उद्यमी होंगे. वही लोग इसे व्यक्तिगत रूप से अपने लिए लागू कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि ऐसा समय आएगा जहां प्रोजेक्ट बिल्डर्स की कम्यूनिटी होगी जो एक साथ कई प्रोजेक्ट पर काम कर सकेंगे जैसे वकील या सलाहकार करते हैं. 


सरकार के मंत्री का बयान ऐसे समय में आया है जब सॉफ्टवेयर कंपनी  विप्रो ने अपने 300 कर्मचारियों को मूनलाइटिंग करने के चलते नौकरी से निकाल दिया है. विप्रो के चेयरमैन ऋषद प्रेमजी (Rishad Premji) ने कहा कि 300 कर्मचारी जो विप्रो में नौकरी कर रहे थे पिछले कुछ महीनों में उन्हें साथ में प्रतिद्वंदी कंपनी में काम करते हुए पाया गया जो कंपनी के मूल्यों के खिलाफ है. जिसके चलते उन्हें नौकरी से निकाल दिया गया है.  इंफोसिस ने अपने कर्मियों को चेतावनी दी है कि मूनलाइटिंग करने पर उन्हें नौकरी से हाथ धोना पड़ सकता है. 


क्‍या है मूनलाइटिंग
यह कॉन्‍सेप्‍ट कोरोनाकाल के दौरान वर्क फ्रॉम होम ( Work From Home) का चलन बढ़ने के बाद बढ़ा है. मूनलाइटिंग चीटिंग का मतलब है कि रेगुलर जॉब के साथ चोरी-छुपे दूसरी जगह भी नौकरी करते रहना. आईटी सेक्‍टर में कई कंपनियों में वर्क फ्रॉम होम चल रहा है. ऐसे में  कर्मचारी एक कंपनी के अलावा दूसरी जगह काम करके अतिरिक्‍त कमाई कर रहे हैं.


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