Hospital Bill GST Charge: हॉस्पिटल में एक बार भर्ती होने के बाद आपके बिल का मीटर भी चालू हो जाता है, अगर हॉस्पिटल प्राइवेट है और बड़ा है तो रोजाना एक लाख से ज्यादा बिल बन सकता है. ऐसे में जब भी फाइनल बिल बनता है तो कई लोगों के इसे चुकाने में पसीने छूट जाते हैं. कई बार बिल में शामिल चीजों पर भी लोग ध्यान नहीं देते हैं और हॉस्पिटल इसी चीज का फायदा उठाकर लोगों को लूट लेते हैं. आज हम आपको एक ऐसी चीज के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी जानकारी होना आपके लिए जरूरी है. 


बिल पर जरूर दें ध्यान
जब भी आप अपने किसी दोस्त या फिर परिजन को हॉस्पिटल से डिस्चार्ज करवाते हैं तो सबसे पहले आपको बिल क्लियर करना होता है. बिलिंग काउंटर पर जाकर आपको एक लंबा चौड़ा बिल पकड़ा दिया जाता है, जिसमें मरीज पर होने वाले खर्च और बाकी चीजों की कीमत लिखी होती है. आमतौर पर लोग कुछ चीजों को लेकर कंफ्यूज होते हैं तो पूछ लेते हैं, लेकिन नीचे जब टोटल होता है तो उस पर लगे जीएसटी को देखना भूल जाते हैं. ये गलती आपको बिल्कुल भी नहीं करनी है. 


कितना लगता है जीएसटी?
कई बार हॉस्पिटल वाले बिल पर ज्यादा जीएसटी चार्ज कर लेते हैं, कुछ छोटे अस्पतालों में तो 18 परसेंट तक जीएसटी वसूल लिया जाता है, जो बिल्कुल गलत है. आपको ये पता होना चाहिए कि डॉक्टर, डायग्नॉस्टिक ट्रीटमेंट एंड केयर पर किसी भी तरह का जीएसटी नहीं लगता है. बाकी कुछ चीजों जैसे- रूम या फिर दवाओं पर सिर्फ 5 परसेंट जीएसटी वसूला जा सकता है. रूम पर भी तभी जीएसटी वसूला जा सकता है, जब उसका चार्ज पांच हजार रुपये प्रतिदिन से ज्यादा हो. हॉस्पिटल में इस्तेमाल होने वाली कुछ चीजों पर 12 परसेंट तक का जीएसटी लग सकता है.


अब अगर आपसे भी जीएसटी के नाम पर ऐसी लूट होती है तो आप इसका विरोध कर सकते हैं और तुरंत बिल दोबारा बनाने के लिए कह सकते हैं. इसके अलावा आप गलत बिल बनाने के लिए हॉस्पिटल की शिकायत भी कर सकते हैं. 



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