UP Assembly Election 2022 Gorakhpur City Assembly Seat: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (UP Assembly Election) के लिए भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी कर दी है. बीजेपी ने यूपी चुनाव के पहले 2 चरणों के लिए 107 उम्मीदवारों के नामों की घोषणा की है. गोरखपुर शहर सीट (Gorakhpur City Seat) से राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) चुनाव लड़ेंगे. तो चलिए आपको बताते हैं कि, गोरखपुर शहर सीट का इतिहास क्या रहा है. 


राधामोहन दास अग्रवाल ने लगातार दर्ज की जीत 
2017 के विधानसभा चुनाव में गोरखपुर शहर सीट पर बीजेपी उम्मीदवार राधामोहन दास अग्रवाल ने कांग्रेस प्रत्याशी राना राहुल सिंह को 60730 वोटों से हराया था. 2012 में भी ये सीट बीजेपी के खाते में गई थी. बीजेपी उम्मीदवार राधामोहन दास अग्रवाल ने एसपी प्रत्याशी राजकुमारी देवी को 47454 वोटों से हराया था.


33 सालों से भगवा का कब्‍जा
गोरखपुर शहर विधानसभा सीट पर पिछले 33 सालों से भगवा का कब्‍जा है. इन 33 सालों में कुल 8 चुनाव हुए जिनमें से 7 बार बीजेपी और एक बार हिन्‍दू महासभा (योगी आदित्‍यनाथ के समर्थन से) के उम्‍मीदवार ने जीत हासिल की. वर्ष 2002 में इस सीट से राधामोहन दास अग्रवाल हिन्‍दू महासभा के बैनर तले जीते लेकिन जीतने के बाद ही वो बीजेपी में शामिल हो गए और वो तब से ही लगातार इस सीट से जीत दर्ज करते आ रहे हैं.


गोरक्षपीठ मठ का रहा है प्रभाव 
गोरखपुर शहर सीट पर गोरक्षपीठ मठ का प्रभाव माना जाता है. वर्ष 2002 में यहां से भाजपा के सीनियर नेता शिव प्रताप शुक्ला चुनावी मैदान में उतरे थे. योगी आदित्यनाथ की उनसे नहीं बन रही थी, ऐसे में योगी ने तब भारतीय हिंदू महासभा के उम्मीदवार के तौर पर राधामोहन दास अग्रवाल को चुनावी मैदान में उतार दिया. योगी आदित्यनाथ का प्रभाव ऐसा रहा कि शिव प्रताप शुक्ला तीसरे स्थान पर चले गए. 


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