Sambhal Violence: संभल में बीते 24 नवंबर को हुई हिंसा के बाद अब जमकर सियासत हो रही है. समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव और मुरादाबाद मंडल के कमिश्नर आञ्जनेय कुमार सिंह के बीच शायरी में वार-पलटवार किया जा रहा है. हिंसा पर अखिलेश यादव के शायरी का जवाब भी उन्होंने शायराने अंदाज में दिया है, जिसके बाद दोनों के पोस्ट पर कमेंट आ रहे हैं.
सीनियर IAS आञ्जनेय कुमार सिंह ने कहा, 'दुनिया में हूं दुनिया का तलबगार नहीं हूं, बाजार से गुजरा हूं खरीदार नहीं हूं. इस खाना-ए-हस्ती से गुज़र जाऊंगा बे-लौस साया हूँ फकत नक्श-ब-दीवार नहीं हूं. गो दावा-ए-तक्वा नहीं दरगाह-ए-खुदा में बुत जिस से हों खुश ऐसा गुनहगार नहीं हूं.'
ऐसे किया पलटवारइसके बाद मुरादाबाद मंडल के कमिश्नर ने लिखा, 'नेक लोगों में मुझे नेक गिना जाता है और गुनहगार गुनहगार समझते हैं मुझे. मैं बदलते हुए हालात में ढल जाता हूं, देखने वाले अदाकार समझते हैं मुझे. वो जो उस पार हैं इस पार मुझे जानते हैं, ये जो इस पार हैं उस पार समझते हैं मुझे.'
वहीं अखिलेश यादव ने लिखा, 'झूठ को सच की मीठी चाशनी में लपेटकर खिलानेवाले आइने में कितना शर्मिंदा होंगे अपना फर्ज न निभानेवाले.' वहीं शनिवार की शाम को पोस्ट कर लिखा, 'जो अपने गुनाह पर शायरी का परदा डालते हैं, वो सच में हैं कितने गुनाहगार खुद भी जानते हैं.'
संभल हिंसा: सपा के प्रतिनिधिमंडल को रोके जाने पर अखिलेश यादव बोले- 'ऐसा कब तक चलेगा?'
सपा प्रमुख को जवाबशनिवार को अखिलेश यादव द्वारा किए गए पोस्ट पर कमिश्नर आञ्जनेय कुमार सिंह ने लिखा, 'उन को किसी हालत में न बख्शेगा किनारा औरों को डुबी कर जो किनारे निकल आए.' बता दें कि संभल हिंसा के बाद कमिश्नर पर तमाम आरोप समाजवादी पार्टी के ओर से लगाए जा रहे हैं.
बता दें कि यहां सुप्रीम कोर्ट ने यथा स्थिति बरकरार रखते हुए मुस्लिम पक्ष को इलाहाबाद हाईकोर्ट जाने की लिए पूरा समय देने का आदेश दिया है. अब सुप्रीम कोर्ट में इस मामले की अगली सुनवाई जनवरी के पहले हफ्ते में होने की संभावना है. वहीं सोमवार को मुस्लिम पक्ष अपनी याचिका हाईकोर्ट में दायर कर सकता है.