लखनऊ: आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह आज अचानक समाजवादी पार्टी के लखनऊ स्थित दफ्तर पहुंच गए. यहां उन्होंने यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से मुलाकात की. इस खबर के बाद से यूपी सियासी हलचल तेज हो गई है. कयास लगा जा रहे हैं कि क्या आगामी विधानसभा चुनाव के लिए आम-सपा का गठबंधन हो सकता है.


एक दिन पहले ही बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) सुप्रीमो मायावती ने कहा था कि समाजवादी पार्टी की यह लाचारी है कि वह उत्तर प्रदेश में आगामी विधानसभा चुनाव छोटी पार्टियों के साथ मिलकर लड़ेगी. उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी ऐसा इसलिए करने पर मजबूर हैं क्योंकि देश की अधिकतर बड़ी व प्रमुख पार्टियां चुनाव में इनसे किनारा करना ही ज़्यादा बेहतर समझती हैं.


मायावती ने ट्वीट में लिखा था, 'समाजवादी पार्टी की घोर स्वार्थी, संकीर्ण व खासकर दलित विरोधी सोच और कार्यशैली आदि के कड़वे अनुभवों और इसके भुक्तभोगी होने के कारण देश की अधिकतर बड़ी व प्रमुख पार्टियां चुनाव में इनसे किनारा करना ही ज्यादा बेहतर समझती हैं, जो सर्वविदित है.'


दरअसल, समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव साल 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव में किसी भी बड़े राजनीतिक दल से गठबंधन से साफ इंकार कर चुके हैं. उन्होंने कुछ समय पहले कहा था कि समाजवादी पार्टी छोटी पार्टियों के साथ मिलकर चुनाव मैदान में उतरेगी.


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