Rajasthan News: राजस्थान में हुए विधानसभा चुनाव (Rajasthan Assembly Election) में जहां एक तरफ बीजेपी (BJP) को पूर्ण बहुमत मिला है. वहीं कांग्रेस (Congress) 69 सीटों पर सिमट गई है. ऐसे में कहा जा रहा है कि कई सीटें ऐसी हैं, जहां पर बहुत कम मार्जिन से चुनाव में हार जीत हुई है. उसमें बीजेपी की संख्या अधिक है. कांग्रेस कम सीटों पर पीछे रही है. इन सीटों को लेकर के राजस्थान में बीजेपी और कांग्रेस में चिंतन शुरू हो गया है. दिल्ली में कांग्रेस के चिंतन बैठक में भी इन सीटों की चर्चा की गई है.


बीजेपी भी इन सीटों को लेकर मंथन कर रही है. आखिर क्यों लगभग 17 सीटों पर 2000 से कम मतों का अंतर रह गया. इस पर पार्टी में चिंतन मंथन जारी है. इन्हीं 17 सीटों की वजह से आज जहां बीजेपी अपने आप को अपने अनुमानित सीटों से कम मान रही है. वहीं कांग्रेस को लगता है कि इन सीटों से पार्टी को फायदा मिलता.


इन सीटों पर रहा 2 हजार से कम का अंतर


राजस्थान के जिन 17 सीटों पर 2000 वोटों के कम अंतर से हार और जीत हुई है, उन पर बीजेपी के प्रत्याशियों को जीत मिली है. कोटपूतली से बीजेपी के हंसराज पटेल को 321, रमेश खींची को 409, गोपीचंद मीणा को 580, बालमुकुंदाचार्य को 974 वोटों से जीत मिली है. संजीव कुमार 1132, रामस्वरूप लांबा 1135,  आदूराम मेघवाल को 1428 मत मिले हैं. जब्बरसिंह सांखला 1526, जवाहर सिंह बेडम को 1531 और डॉ मंजू बाघमार को 1565 मतों से जीत मिली है.


कांग्रेस के इन प्रत्याशियों को मिली जीत


भगवान राम सैनी को 416 मतों से, अमित चाचाण को 895 और हरीश चौधरी को 910 मतों से जीत मिली है. समरजीत सिंह को 1027, अर्जुन सिंह बामनिया को 1400, पुष्करलाल डांगी को 1567 और कांति प्रसाद को 1939 मतों से जीत मिली है.


बदल गई सियासी चाल


इन 17 सीटों की वजह से बीजेपी और कांग्रेस में बड़े सियासी चाल पर बदलाव आ गया है. जहां एक तरफ बीजेपी अपने आप को 135 सीटों पर जीत मान करके चल रही थी, वहीं 115 अपने पर थोड़ा बीजेपी में दबाव की स्थिति देखी जा रही है. कांग्रेस जहां पर अपने आप को 90 मानकर की चल रही थी, इन 17 सीटों से कांग्रेस में भी अब दबाव की स्थिति दिख रही है.


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