Himachal Pradesh Political Crisis: हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस का संकट टलता हुआ नजर आ रहा है. कांग्रेस सूत्रों का दावा है कि हिमाचल कांग्रेस का संकट सुलझ गया है. जल्द ही समन्वय समिति का एलान किया जाएगा. सूत्रों के मुताबिक विक्रमादित्य सिंह (Vikramaditya Singh) कांग्रेस आलाकमान के संपर्क में हैं. पार्टी नेतृत्व के सामने विक्रमादित्य ने अपना पक्ष रखने के साथ ही बागी विधायकों को लेकर भी बात की है.


कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) को लेकर प्रस्तावित समन्वय समिति का एलान जल्द हो सकता है. कांग्रेस सूत्रों का दावा है प्रदेश के पूर्व मंत्री विक्रमादित्य सिंह पार्टी के साथ हैं और विवाद सुलझा लिया गया है. फिलहाल हिमाचल में नेतृत्व परिवर्तन नहीं होने जा रहा है.


विक्रमादित्य सिंह ने सुक्खू सरकार पर लगाए थे आरोप


हिमाचल कांग्रेस में उस वक्त हलचल तेज हो गई थी जब विक्रमादित्य सिंह ने बुधवार (28 फरवरी) को अपने मंत्री पद से इस्तीफा देने की घोषणा की थी. उन्होंने हिमाचल प्रदेश के मौजूदा सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू की कार्यशैली को लेकर सवाल उठाते हुए कांग्रेस विधायकों की अनदेखी करने का आरोप लगाया था. साथ ही विक्रमादित्य सिंह ने अपनी ही सरकार पर आरोप लगाते हुए अपने पिता के अनादर करने की भी बात कही थी. हालांकि बाद में उनका इस्तीफा वापस लेने की भी खबरें आईं. बता दें कि विक्रमादित्य सिंह हिमाचल के पूर्व सीएम वीरभद्र सिंह और प्रतिभा सिंह के बेटे हैं. 


कांग्रेस के 6 विधायकों की सदस्यता रद्द


वीरभद्र सिंह की पत्नी और कांग्रेस नेता प्रतिभा सिंह ने भी प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस विधायकों की अनदेखी करने का आरोप लगाया था. इस दौरान उन्होंने ये भी कहा था कि विक्रमादित्य सिंह अपने इस्तीफे पर कायम है. गौरतलब है कि हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस के 6 विधायकों ने पाला बदलते हुए क्रॉस वोटिंग की थी. इसके बाद हिमाचल विधानसभा के अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने 29 फरवरी को कार्रवाई करते हुए कांग्रेस के 6 विधायकों की सदस्यता रद्द कर दी थी. 


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