नालंदा: बिहार में कोरोना की दूसरे लहर का प्रकोप दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है. रोजाना संक्रमण से मरीजों की मौत हो रही है. कोरोना के प्रति लोगों के मन में इस कदर डर बैठ गया है कि वे किसी और वजह से भी मौत होने पर मृतक के पास नहीं जा रहे हैं. बाहरी लोग तो दूर परिजन भी लाश के पास नहीं जाना चाहते हैं. ताजा मामला बिहार के नालंदा जिले के हरनौत का है, जहां रविवार को एक बुजुर्ग की बाजार में चलते-चलते अचानक मौत हो गई. 

लाश सड़क पर छोड़ कर भाग गई बेटी

बुजुर्ग के साथ उसकी बेटी भी थी. लकिन जैसे ही बेटी ने पिता को मरा हुआ देखा, वैसे ही वो मौके से फरार हो गई. पिता की लाश का क्या होगा ये सोचे बिना डरी-सहमी बेटी किसी तरह मौके से जान बचाकर भाग निकली. इधर, हरनौत बाजार के थाना मोड़ के पास घंटों लाश पड़ी रही, लेकिन किसी की उसके पास जाने की हिम्मत नहीं हुई. 

मृतक की पहचान पटना के बख्तियारपुर थाना क्षेत्र के मिसी गांव निवासी देवीलाल रविदास के रूप में की गई है, जो बेटी के साथ हरनौत बाजार आया था. प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि बुजुर्ग बेटी के साथ बख्तियारपुर की तरफ से आ रही बस से उतर कर कुछ ही कदम चला था कि गिर कर उसकी मौत हो गई. 

घंटों सड़क किनारे पड़ी रही लाश

पिता की मौत के बाद बेटी लाश सड़क पर छोड़ कर, उसी बस पर सवार होकर भाग गई. ऐसे में घटना की सूचना पुलिस को दी गई. सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची, लेकिन लाश को वहीं छोड़ कर चली गई. नतीजा घंटों बाजार में सड़क किनारे लाश पड़ी रही.

आखिरकार घटना की सूचना मृतक के परिजनों को दी गई. इस संबंध में थानाध्यक्ष चंद्रशखर सिंह ने बताया कि देवीलाल रविदास बेटी के साथ हरनौत आ रहा था. इसी बीच उसकी मौत हो गई. मौत के बाद बेटी लाश छोड़कर भाग गई है. घटना की सूचना मृतक के परिजनों और जिला प्रशासन को दे दी गई है.

यह भी पढ़ें -

बिहार: कोरोना मरीजों के इलाज के लिए 47 निजी अस्पताल पड़े कम, 43 और को दिया गया जिम्मा, देखें- पूरी लिस्ट

बिहार में 29 अप्रैल से रद्द रहेंगी ये 23 जोड़ी स्पेशल ट्रेनें, रेलवे ने जारी की लिस्ट