बिहार के गया से एनआईए की टीम ने एक खालिस्तानी आतंकी शरणजीत को गिरफ्तार किया है. आतंकी लंबे समय से फरार चल रहा था और वह वेश बदलकर लंबे समय से गया के शेरघाटी में छिपा था. एनआईए की टीम को मिली सूचना के बाद से शुक्रवार की देर रात छापेमारी कर शेरघाटी के गोपालपुर से उसे गिरफ्तार किया है.
मुख्य आरोपी है शरणजीत कुमार
एनआईए की टीम और स्थानीय थाना शेरघाटी पुलिस ने गोपालपुर गांव के समीप नेशनल हाईवे पर छापेमारी कर गिरफ्तार किया है. एनआईए ने बताया कि मार्च 2025 में अमृतसर मंदिर ग्रेनेड हमला मामले में मुख्य आतंकवादी आरोपी शरणजीत कुमार उर्फ शनि को गिरफ्तार किया गया है, जो पंजाब के गुरदासपुर जिले के बटाला के कांदिया जिले के भैनी बांगर गांव का रहने वाला है.
15 मार्च 2025 को आतंकी हमले की साजिश और उसे अंजाम देने में शरणजीत की सक्रिय भूमिका थी. दो बाइक सवार हमलावरों ने ग्रेनेड से हमला किया था, जिसमें गुरसिदक सिंह और विशाल गिल भी थे. एनआईए की जांच में यूरोप, अमेरिका और कनाडा में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मौजूद हैंडलैरो की साजिश का खुलासा हुआ है.
15 मार्च, 2025 की रात ठाकुरद्वारा मंदिर के बाहर से पहली मंजिल पर विस्फोटक फेंका, जिससे दीवार का एक हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया और खिड़कियों के शीशे टूट गए. हमले के बाद, पंजाब पुलिस ने गुरसिदक सिंह और विशाल की पहचान की. 17 मार्च को जब पुलिस ने उन्हें पकड़ा, तो उन्होंने पुलिस पर गोलीबारी शुरू कर दी, जिसमें एक हेड कांस्टेबल घायल हो गया. पुलिस की जवाबी गोलीबारी में गुरसिदक सिंह की मौत हो गई थी.
लाइन होटल में बनाया था ठिकाना
गिरफ्तार आतंकी शरणजीत कुमार को 1 मार्च 2025 को बटाला, गुरदासपुर में ग्रेनेड की खेप मिली थी, जिसे हमले से ठीक दो दिन पहले गुरसीदक और विशाल को एक ग्रेनेड सौंपा था. हमले के बाद वेश बदलकर वह कभी ट्रक ड्राइवर तो कभी अन्य पहचान बनाकर अपनी गतिविधियां संचालित करता था. जीटी रोड के लाइन होटल में उसने ठिकाना बना लिया था और वहीं से सक्रिय था. गिरफ्तारी के बाद एनआईए की टीम उसे अपने साथ लेकर चंडीगढ़ के लिए रवाना हो गई है.
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