इसे कहते हैं भारत का ठंडा रेगिस्तान, हर साल यहां पहुंचते हैं लाखो सैलानी, आपने भी जरूर सुना होगा नाम
शायद आपको अभी यह बात बेवकूफी भरी लग रही होगी. लेकिन, इससे पहले की आगे की बात बताई जाए, पहले यह जानना जरूरी है कि आखिर रेगिस्तान कहते किसको हैं. क्या सिर्फ उसी इलाके को रेगिस्तान कहते हैं जहां चारो तरह रेत ही रेत हो, दूर-दूर तक कोई वनस्पति न हो...? नहीं, सिर्फ उसे ही रेगिस्तान नहीं कहते.
दरअसल, रेगिस्तान किसी भी रूप में हो सकता है. यानी रेगिस्तान में रेत से लेकर बर्फ तक भी हो सकती है. वैसे रेगिस्तान की परिभाषा यह है कि जिस इलाके में साल भर में 25 सेंटीमीटर यानी 9.8 इंच से कम बारिश होती है, उसे रेगिस्तान की श्रेणी में गिना जाता है. ये बात वैज्ञानिक कहते हैं.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, फ्रांस की यूनिवर्सिटी ऑफ ग्रेनोबल में मौसम विज्ञानी और क्लाइमेटोलॉजिस्ट जोनाथन विली भी इस परिभाषा का समर्थन करते हैं. अब आइए समझते हैं कि अपने देश का सबसे लोकप्रिय टूरिस्ट प्लेस लद्दाख कैसे रेगिस्तान हुआ.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, लद्दाख में हर साल औसतन 25 दिन ही बारिश होती है. जिसमें मात्र लगभग 9 mm बारिश ही गिरती है. इतनी कम बारिश होने के कारण, लद्दाख रेगिस्तान के क्राइटेरिया को फुलफिल करता है, यानी यह रेगिस्तान की श्रेणी में आता है. लेकिन लद्दाख में आखिर इतनी कम बारिश होती क्यों है...?
अगर लद्दाख की भौगोलिक स्थिति को देखें तो यह पहाड़ों से गिरा हुआ है. किस वजह से मानसूनी हवाएं इस इलाके तक पहुंच नहीं पाती हैं. जिस वजह से यहां बहुत कम बारिश होती है.