रूस के हमले के बीच यूक्रेन के खारकीव मेट्रो स्टेशन में करीब 160 भारतीय छात्र फंस हुए हैं. मेट्रो स्टेशन में फंसे हुए छात्रों ने भारत सरकार से अपील की है कि उन्हें जल्द से जल्द वहां से निकाला जाए. मेट्रो स्टेशन पर फंसे छात्रों में से एक छात्र अमन यादव ने एबीपी न्यूज़ से बातचीत की है. उन्होंने कहा कि यहां का माहौल बहुत खराब है और बमबारी शूरू हो गई है.


अमन ने कहा, "यहां का माहौल बहुत खराब है. अभी भी हमें बमबारी की आवाज़ सुनाई दे रही है. अभी अभी आस पास के इलाकों में बमबारी हुई है. आज के लिए हाई अलर्ट है. 6 से 6 बजे तक यहां पर कर्फ्यू चल रहा है." उन्होंने कहा कि पोलैंड और हंगरी के बॉर्डर पर पहुंचना हमारा नामुमकिन है क्योंकि खारकीव की सीमा रशिया से 30 किलोमीटर है.


अमन ने बताया कि मेट्रो स्टेशन एक किलोमीटर की दूरी पर है. उन्होंने कहा, "यहां (मेट्रो स्टेशन में) करीब 160 छात्र हैं और हॉस्टल में लगभग 4 हज़ार भारतीय छात्र हैं, बाकी मेट्रो स्टेशनों में भी हैं, टोटल सात से आठ हज़ार हैं जो खारकीव के अंदर फंसे हुए हैं." उन्होंने बताया कि वो राजस्थान के श्रीगंगानगर के रहने वाले हैं.


उन्होंने कहा, "यहां के हालात बहुत खराब होते जा रहे हैं. उससे पहले हमें यहां से निकाला जाए. हमारी यही अपील है कि हमें गाड़ियां उपलब्ध कराई जाए, ताकि पोलैंड और हंगरी बॉर्डर हम पहुंच सकें." उन्होंने कहा कि सरकार ने गाड़ियों पर भारत का झंडा लगाने के लिए कहा है, लेकिन हमारे पास कोई झंडा नहीं है. कैसे लगाएं.


अमन ने बताया कि अभी तीन चार दिनों का खाना हमारे पास है. हालांकि उन्होंने कहा कि यहां पर पीने का पानी खत्म हो चुका है. उन्होंने कहा कि यहां पर भारतीय बच्चों के अलावा और भी कई देशों के बच्चे हैं फंसे हुए हैं. उन्होंने कहा, "यहां सुबह से साइरन बज रहे हैं और अभी भी आवाज़ें आ रही हैं."


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