भारत में कोरोना संकट का दीर्घकालीन हल मात्र टीकाकरण ही है. ये कहना है अमेरिका के सर्वोच्च स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉक्टर एंथनी फाउची का. उन्होंने खतरनाक महामारी से लड़ने के लिए घरेलू और वैश्विक दोनों स्तर पर कोविड-19 वैक्सीन के उत्पादन को बढ़ाने की मांग की. एक सवाल के जवाब में डॉक्टर फाउची ने कहा कि भारत को तत्काल जरूरत है अस्थायी अस्पताल बनाने की जैसा चीन ने एक साल पहले किया था.


भारतीय संकट का दीर्घकालीन हल टीकाकरण-डॉ फाउची


उन्होंने कहा, "अस्पताल में बेड न होने से आप लोगों को सड़क पर नहीं निकाल सकते. ऑक्सीजन की स्थिति वास्तव में नाजुक है. मेरा मतलब है, ऑक्सीजन लोगों के लिए न होने का मतलब बेहद दुखद है. आखिर चल क्या रहा है." अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के मुख्य मेडिकल सलाहकार डॉक्टर फाउची ने एक इंटरव्यू में अपनी बात रखी. 80 वर्षीय डॉक्टर और प्रतिरक्षा वैज्ञानिक ने बताया कि अस्पताल में बिस्तर, ऑक्सीजन, पीपीई किट्स और अन्य आपूर्ति की तत्काल समस्या है. आगे ये भी देखना है कि ट्रांसमिशन का चेन आप कैसे तोड़ने जा रहे हैं?


अमेरिका के डॉक्टर ने बताया कि वैक्सीन उनमें से एक है लेकिन अन्य रास्ते भी हैं, जैसे देश में पूरी तरह बंद करना. पूर्व में सलाह दी थी कि आपको वास्तव में उसे करने की जरूरत है. मेरा विश्वास है कि भारतीय राज्यों ने उसे पहले ही कर दिया है, लेकिन आपको ट्रांसमिशन के चेन को तोड़ने की जरूरत होगी. उन्होंने वायरस के फैलाव को रोकने के लिए देश भर में लॉकडाउन की जरूरत को रेखांकित किया. 


अन्य देशों का व्यक्तिगत तौर पर मदद का किया आह्वान


गौरतलब है कि पिछले हफ्ते समाचार एजेंसी पीटीआई को दिए इंटरव्यू में उन्होंने भारत की स्थिति को 'बहुत निराशाजनक' बताया था और सुझाव दिया था कि सशस्त्र बल समेत सरकार को तत्काल प्रभाव से अस्थायी अस्पताल बनाने में अपने सभी संसाधनों का इस्तेमाल करने की जरूरत है. उन्होंने अन्य देशों का सामग्री समेत व्यक्तिगत तौर पर भी मदद करने का आह्वान किया था.


उन्होंने राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन का 'कुछ हफ्तों के लिए' समर्थन किया जिससे संक्रमण का ट्रांसमिशन और निरंतरता को तोड़ा जा सके. डॉक्टर फाउची ने देश भर में खतरनाक बीमारी के विस्तार की धारा को काबू करने के लिए बड़े पैमाने टीकाकरण का सुझाव भी दिया. 


हरियाणा: 17 मई तक बढ़ा लॉकडाउन, शादी-अंतिम संस्कार में 11 लोग ही हो सकेंगे शामिल


चीन का दावाः रेड क्रॉस सोसायटी के जरिए भारत को भेजी कोविड-19 उपकरण और 10 लाख डॉलर की मदद