इलाहाबाद: दिल्ली से सटे नोएडा की वेब वर्क कंपनी द्वारा लाइक के नाम पर तकरीबन दो हजार करोड़ रूपये की ऑनलाइन ठगी के मामले की जांच अब देश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी सीबीआई करेगी. इस चर्चित मामले की सीबीआई जांच के आदेश आज इलाहाबाद हाईकोर्ट ने दिए हैं. हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने सीबीआई को एक महीने में केस दर्ज कर उसकी प्रोग्रेस रिपोर्ट अदालत में दाखिल करने को कहा है. अदालत ने इसके साथ ही सीबीआई को मामले की जांच 25 अगस्त तक पूरी कर लेने को भी कहा है.


शाहरुख खान और नवाजउद्दीन सिद्दीकी को कोर्ट ने दी राहत


वेब वर्क और उसकी सहयोगी कंपनी एड्सबुक डॉट काम का प्रचार करने वाले फिल्म स्टार शाहरुख खान और नवाजउद्दीन सिद्दीकी को अदालत ने राहत देते हुए उन्हें इस केस में पार्टी बनाए जाने व जांच के दायरे में रखे जाने की याचिकाकर्ता की मांग को ठुकरा दिया है. इतना ही नहीं अदालत ने याचिकाकर्ता को सुरक्षा मुहैया कराए जाने की अपील पर भी फिलहाल कोई आदेश जारी नहीं किया है.


अदालत ने इस मामले में यूपी पुलिस के रवैये पर तल्ख़ टिप्पणी भी की है और कहा है कि कई महीने बीत जाने के बावजूद पुलिस अब तक जांच के नाम पर कुछ भी नहीं कर सकी है. ऐसा लगता है कि पुलिस करोड़ों की ठगी के आरोपियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करना चाहती है. अदालत ने सबसे ज़्यादा एतराज कंपनी की डायरेक्टर निशि त्यागी को अब तक गिरफ्तार नहीं किये जाने पर जताया है.


पुलिस स्टेशन में दर्ज कराया था धोखाधड़ी का केस


आरोप है कि वेब वर्क ट्रेड लिंक्स प्राइवेट लिमिटेड ने कुछ ही महीनों में तकरीबन पांच लाख लोगों से दो हजार करोड़ रूपये इन्वेस्ट कराए थे. इनमे से तमाम लोगों को कुछ दिनों तक पैसे दिए भी गए, लेकिन नोएडा में ही अनुभव मित्तल की कंपनी एमब्लेज का फ्रॉड सामने आने के बाद वेब वर्क कंपनी पर भी शिकंजा कसने लगा था. फरवरी महीने में तमाम लोगों ने कंपनी के खिलाफ नोएडा के सेक्टर 20 पुलिस स्टेशन में धोखाधड़ी का केस दर्ज कराया था.


गौरतलब है कि अनुराग गर्ग और संदेश वर्मा नाम के दो शख्स ने नोएडा के सेक्टर दो में वेब वर्क ट्रेड लिंक्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनी खोली. कंपनी लोगों से मेम्बरशिप फीस लेकर उनसे अपने पोर्टल पर लाइक कराती थी.


जानकारी के मुताबिक़ हर लाइक पर निवेशकर्ता को छह रूपये मिलते थे. वेब वर्क ने पिछले साल दस दिसम्बर को इसी तरह की एक और कंपनी खोली और उसकी लांचिंग फिल्म स्टार शाहरुख खान और नवाजउद्दीन सिद्दीकी से कराई. इन कलाकारों का नाम जुड़ने के बाद कंपनी के निवेशकर्ताओं की संख्या काफी तेजी से बढ़ गई थी. अनुभव मित्तल का मामला सामने आने के बाद कंपनी ने दो महीने तक कामकाज बंद रखने की सूचना दी तो लोगों ने प्रदर्शन शुरू कर दिया.


दफ्तर और बैंक खातों को सीज करने के बाद कंपनी के मालिक को किया गिरफ्तार


अमित किशोर जैन समेत तमाम लोगों ने नोएडा के सेक्टर बीस पुलिस स्टेशन में कंपनी के खिलाफ धोखधड़ी की एफआईआर इसी साल 12 फरवरी को दर्ज कराई. पुलिस ने कंपनी के दफ्तर और बैंक खातों को सीज करने के बाद 17 फरवरी को कंपनी के संचालक-कर्ताधर्ता अनुराग गर्ग और संदेश वर्मा को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया.


शिकायतकर्ता अमित किशोर जैन ने बाद में इलाहाबाद हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल कर यूपी पुलिस की जांच पर असंतोष जताते हुए एसआईटी या सीबीआई जांच की मांग की. याचिका में केंद्र और यूपी सरकार के साथ ही सात लोगों को सीधे तौर पर पार्टी बनाया गया था.


दो हजार करोड़ रूपये की ठगी के मामले की जांच


याचिकाकर्ता की तरफ से सुनवाई के दौरान कंपनी का प्रचार करने वाले फिल्म स्टार शाहरुख़ खान और नवाजउद्दीन सिद्दीकी को केस में पार्टी बनाए जाने और उन्हें भी जांच के दायरे में रखे जाने की मांग की, लेकिन कोर्ट ने इसे ठुकरा दिया. जस्टिस रमेश सिन्हा और जस्टिस केपी सिंह की डिवीजन बेंच ने आज तकरीबन दो हजार करोड़ रूपये की ठगी के मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी है.


कोर्ट ने इस मामले की मानीटरिंग भी खुद ही करने का फैसला भी किया है. सीबीआई को एक महीने में प्रोग्रेस रिपोर्ट अदालत में पेश करनी होगी, जबकि मामले की जांच पचीस अगस्त तक पूरी करनी होगी. सीबीआई इसके बाद ज़रुरत पड़ने पर कोर्ट से और वक्त मांग सकती है.