UP Power Crisis: प्रदेश में पड़ रही भीषण गर्मी के बीच बिजली उत्पादन कम्पनियों को कोयला की कमी के कारण घंटो लोड शेडिंग की खबरें आ रही हैं. वहीं इस समस्या से निजात पाने के लिए ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने बुंदेलखंड के बिजली विभाग के उच्च अधिकारियों के साथ मीटिंग की है. इस चर्चा के दौरान कोयले की कमी को पूरा करने पर बातचीत की गई.


कोयले की कमी को पूरा करने के निर्देश


मीटिंग के दौरान ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने निर्णय लिया है कि अब ट्रेन के साथ अब रोड से भी कोयला की अत्यधिक ढुलाई होगी, जिससे की बिजली उत्पादन कम्पनियों को कोयला की कमी से छुटकारा मिल सकता है. ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने बिजली उत्पादन इकाई को अधिकतम उत्पादन करने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ ही डिलिवरी और ट्रांसमिशन से जुड़े अधिकारियों को छुट्टियों में भी कार्य करने का आग्रह किया है.


ट्रान्सफ़ॉर्मर की कमी को किया जाएगा पूरा


ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने चर्चा के दौरान निर्देश दिया है कि बिजली विभाग के उच्च अधिकारी जनता और जन प्रतिनिधियों से सम्पर्क में रहें, साथ ही उनसे बातचीत भी करें. इसके अलावा ट्रान्सफ़ॉर्मर की जल्द उपलब्धता के लिए ज़िले के साथ-साथ उप केंद्र स्तर पर भी ट्रान्सफ़ॉर्मर उपलब्ध रखने को कहा गया है. वहीं रिपेयरिंग के अतिरिक्त वाहन को प्राथमिकता से रखने के लिए कहा गया है.


बता दें कि वर्तमान में उत्तर प्रदेश में लगभग 22000 मेगावाट बिजली की मांग है, वहीं इसकी आपूर्ति मात्र 19000 मेगावाट के आसपास है. जिसके कारण गांवों और कस्बों में बिजली कटौती की जा रही है. जिससे आम जनजीवन काफी प्रभावित हो रहा है. ऊर्जा विभाग द्वारा जी गई जानकारी के मुताबिक वर्तमान में ग्रामीण इलाकों में निर्धारित 18 घंटे के सापेक्ष औसतन 15 घंटे बिजली आपूर्ति की जा रही है.


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