UK Professor Nitasha Kaul News: भारतीय मूल की लेखिका और प्रोफेसर निताशा कौल को कर्नाटक सरकार ने भारत का संविधान और एकता सम्मेलन में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया था. निताशा कौल ने आरोप लगाया कि उन्हें बेंगलुरु अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर अधिकारियों ने भारत एंट्री करने से रोक दिया. उन्होंने एक्स (पहले ट्विटर) पर दावा किया कि जरूरी दस्तावेज होने बावजूद उन्हें दिल्ली से आए आदेशों के आधार पर एयपोर्ट पर ही रोक दिया गया.


निताशा कौल ने केंद्र सरकार पर लगाए आरोप


भारतीय मूल की यूके प्रोफेसर निताशा कौल ने आरोप लगाया कि उन्होंने आरएसएस की आलोचना की थी, इसलिए उन्हें भारत में प्रवेश करने से रोका गया. इसके बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर उनके कई पोस्ट वायरल हुए, जिसमें निताशा कौल पर गलत सूचना फैलाने का आरोप लगाया गया. साथ ही उन्हें भारत एंट्री नहीं देने के निर्णय को सही करार दिया गया. प्रोफेसर निताशा कौल ने आरोप लगाया, "एयरपोर्ट पर अधिकारियों ने मुझे रोके जाने का सिर्फ यही कारण बताया कि यह आदेश दिल्ली से है." 


उन्होंने कहा, "मेरी यात्रा के साथ-साथ सभी तरह की व्यवस्था कर्नाटक सरकार की ओर से किया गया था और मेरे पास इसका ऑफिसियल लेटर भी है. मुझे दिल्ली से पहले से कोई नोटिस या सूचना नहीं मिली कि मुझे भारत में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. मेरे पार वैध दस्तावेज (यूके पासपोर्ट और भारत के विदेशी नागरिक) भी थे."






'कई घंटे इमीग्रेशन में बिताए'


प्रोफेसर निताशा कौल ने कहा, "मैंने लंदन से बेंगलुरु की फ्लाइट में 12 घंटे बिताए, कई घंटे इमीग्रेशन में बिताए, जहां उन्होंने मुझे इधर-उधर घुमाया और प्रक्रिया के बारे में कोई जानकारी नहीं दी." उन्होंने आरोप लगाया कि अगले 24 घंटों तक वापस लंदन जाने की कोई फ्लाइट नहीं थी. इस वजह उन्होंने 24 घंटे होल्डिंग सेल में बिताए, जहां उन्हें कंबल और तकिया के लिए एयपोर्ट पर कई कॉल करने पड़े. उन्होंने बताया कि वह फिर वहां से 12 घंटे की फ्लाइट लेकर वापस लंदन आईं.


उन्होंने कहा, "मैं भारत विरोधी नहीं हूं, मैं सत्ता विरोधी और लोकतंत्र समर्थक हूं." उन्होंने कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, समाज कल्याण मंत्री एचसी महादेवप्पा, विदेश मंत्री जयशंकर और विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जयसवाल को टैग करते हुए सवाल किया कि दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र को मेरी कलम और शब्द से कैसे खतरा हो सकता है?


वीएचपी ने कर्नाटक सरकार पर निशाना साधा


कर्नाटक वीएचपी नेता गिरीश भारद्वाज ने कहा, "ऐसे राष्ट्र-विरोधी को आमंत्रित करना सिद्धारमैया सरकार के लिए शर्म की बात है. निताशा कौल आप एक देश के खिलाफ बकवास करते हैं और उम्मीद करते हैं कि हम आपका गर्मजोशी से स्वागत करेंगे?"


ये भी पढ़ें: जब हरसिमरत कौर ने एम्स के उद्घाटन पर किया किसान आंदोलन का जिक्र, ऐसा था BJP समर्थकों का रिएक्शन