Mallikarjun Kharge On ECI Letter: मतदान प्रक्रिया की निष्पक्षता को चुनौती देने वाले कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के हालिया बयान के बाद उन्होंने चुनाव आयोग को एक चिट्ठी लिखी. इसमें उन्होंने कहा कि यह आश्चर्यजनक है कि आयोग ने अन्य शिकायतों को नजरअंदाज करते हुए उनके "खुले पत्र" का जवाब कैसे दिया.


कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, “भले ही यह एक खुली चिट्ठी है, यह साफ तौर से हमारे गठबंधन सहयोगियों को संबोधित है, न कि आयोग को. आश्चर्य की बात है कि भारत का चुनाव आयोग इस चिट्ठी का जवाब देना चाहता था जबकि सीधे तौर पर दी गई कई अन्य शिकायतों को नजरअंदाज कर रहा था. चिट्ठी की भाषा को लेकर मेरे मन में कुछ शंकाएं हैं, लेकिन मैं उस मुद्दे पर जोर नहीं दूंगा क्योंकि मैं समझता हूं कि वे किस दबाव में काम कर रहे हैं.”


‘चुनाव आयोग का रवैया हैरान करने वाला’


अपने जवाब में, खरगे ने चुनाव आयोग पर सवाल उठाते हुए कहा कि एक तरफ, यह नागरिकों के सवाल पूछने के अधिकार का सम्मान करने की बात करता है और दूसरी तरफ, यह नागरिकों को सावधानी बरतने की सलाह के रूप में धमकी दे रहा है.


उन्होंने कहा, “मुझे खुशी है कि आयोग समझता है कि संविधान के तहत उसे सुचारू, स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने का अधिकार है. हालांकि, चुनावी प्रक्रिया को खराब करने वाले सत्ताधारी दल के नेताओं की ओर से दिए जा रहे घोर सांप्रदायिक और जातिवादी बयानों के खिलाफ कार्रवाई करने में आयोग की दिखाई गई तत्परता की कमी हैरान करने वाली लगती है.”


‘चुनाव में रुचि रखने वाले मतदान की संख्या भी देखना चाहेंगे’


उन्होंने आगे कहा, "मैं यह लिखने की आवश्यकता से भी हैरान हूं कि 'आयोग किसी निर्वाचन क्षेत्र या राज्य के समग्र स्तर पर किसी भी वोटर्स टर्नआउट डेटा को प्रकाशित करने के लिए कानूनी रूप से बाध्य नहीं है, हालांकि यह तथ्यात्मक है. मुझे यकीन है कि हमारे देश के कई मतदाता भी आश्चर्यचकित होंगे.” खरगे ने कहा कि जो मतदाता चुनाव में रुचि रखते हैं, वे मतदान की संख्या देखना चाहेंगे और चाहेंगे कि इसे सार्वजनिक किया जाए.


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