कर्नाटक में कांग्रेस सरकार के नेतृत्व को लेकर खींचतान जारी है. इस बीच उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार मंगलवार को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के साथ उनकी कार में बेंगलुरु इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर दिखे.
कांग्रेस अध्यक्ष अब दिल्ली के लिए निकल गए हैं. उम्मीद है कि वह कर्नाटक कांग्रेस में चल रहे संकट के बारे में लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी से बातचीत करेंगे. रविवार को, खरगे ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया से मुलाकात कर लंबी बातचीत की थी.
शिवकुमार से मीडिया ने पूछा कि जब खरगे बेंगलुरु में थे, तब वह उनसे क्यों नहीं मिले, तो उन्होंने जवाब दिया, 'मैं उनसे परसों दिल्ली में मिला था. क्या उनसे बार-बार मिलना सही है? मैं उन्हें परेशान नहीं करना चाहता. अगर मुझे उनसे मिलने की ज़रूरत पड़ी तो मैं उनका समय लूंगा.'
खरगे के साथ एयरपोर्ट जाने के उनके फैसले ने नई अटकलों को हवा दे दी है, जहां उन्हें कम से कम 45 मिनट का वन-ऑन-वन टाइम मिल सकता था.
सिद्धारमैया का रुख नरम
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, जिन्होंने पहले कहा था कि वह पूरे पांच साल का टर्म पूरा करेंगे, बेंगलुरु में खरगे से मिलने के बाद अपना रुख नरम करते दिखे. बाद में उन्होंने कहा कि वह मुख्यमंत्री तभी बने रहेंगे, जब हाईकमान चाहेगा, इस बदलाव को शिवकुमार के लिए एक फायदे के तौर पर देखा जा रहा है.
इसी बीच, सिद्धारमैया ने ऊर्जा मंत्री के.जे. जॉर्ज से भी मुलाकात की, जिन्हें सोनिया गांधी का करीबी माना जाता है और अपनी चिंताएं बताईं.
वहीं, शिवकुमार ने राजनीतिक तनाव कम करने की कोशिश की है. उन्होंने कहा कि सिद्धारमैया का फैसला 'आखिरी' होता है और उन्हें पार्टी के लिए 'एक बड़ा एसेट' बताया है. उन्होंने अपने कैंप के विधायक के दिल्ली दौरे का भी बचाव किया है, साथ ही इस बात पर भी जोर दिया है कि सिद्धारमैया के कैंप के मंत्री और विधायक भी दिल्ली आ रहे हैं. दिल्ली पहुंचने के बाद खरगे की राहुल गांधी के साथ चल रहे राजनीतिक संकट पर चर्चा करने की संभावना है.