India Canada Relations: खालिस्तान के समर्थक भारतीयों के लिए खतरा बन चुके हैं और भारतीय मूल के लोगों के लिए कनाडा सबसे खतरनाक देश के रूप में उभरता जा रहा है. इस बात का खुलासा एक रिपोर्ट में हुआ है. कनाडा में चरमपंथियों के निशाने हिंदू और भारतीय समुदाय के लोग हैं, इसमें खालिस्तान समर्थक भी शामिल हैं. पिछले कुछ महीनों के अंदर जस्टिन ट्रूडो के देश में भारतीयों और हिंदुओं के खिलाफ नफरती भाषण और हिंसा की घटनाएं बढ़ी हैं.


नई दिल्ली की थिंक टैंक सेंटर फॉर इंडीग्रेटेड एंड होलिस्टिक स्टजडीज (सीआईएचएस) की रिपोर्ट के मुताबिक, कनाडा में खालिस्तान चरमपंथी खुलेआम घूमते हैं, मंदिरों और राजनयिकों समेत अन्य इंडियन सिंबल्स को निशाना बनाते हैं. इससे हिंदू अल्पसंख्यकों में भय का माहौल बनाने के लिए उन्हें डराया और धमकाया जाता है. इस तरह के कारनामों को लेकर रिपोर्ट में चिंता व्यक्त की गई.


जस्टिन ट्रूडो को लेकर भी जताई गई चिंता


इस रिपोर्ट में कहा गया कि कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो जैसे नेता का भारत विरोधी लोगों के साथ खुलेआम संबंध रखना  न सिर्फ दोनों देशों के बीच के संबंधों बल्कि अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा पैदा करता है. सीआईएचएस ने कनाडा में भारतीयों के लिए बिगड़ती कानून व्यवस्था के लिए सीधे तौर पर जस्टिन ट्रूडो को जिम्मेदार ठहराया है. रिपोर्ट में माना गया कि ट्रूडो के रवैये ने संदेह पैदा किया है. कनाडा की ट्रूडो सरकार ने खालिस्तान समर्थक तत्वों की रैलियों को मंजूरी दी. इतना ही नहीं भारत में दोषी आतंकवादियों की तारीफ की जाती है.


भारत के अपराधियों को दिया जाता है कनाडा का वीजा


इस रिपोर्ट में ये भी दावा किया गया कि भारत के मोस्ट वांटेड आतंकवादियों को कनाडा में वीजा मिल रहा है. कनाडा के इमिग्रेशन डिपार्टमेंट के मुताबिक, पिछले कुछ सालों में कनाडा में पहुंचने वाले प्रवासियों में भारतीयों की संख्या टॉप पर रही. भारत के बाद सबसे ज्यादा सिख समुदाय कनाडा में ही रहता है.


ये भी पढ़ें: Canada India Conflict: भारत की ओर फिर टेढ़ी आंख कर रहा कनाडा, रिपुदमन सिंह के बेटे की जान को खतरा बताया