Asaduddin Owaisi On Minority Politics: देश की अल्पसंख्यक समुदाय खासतौर पर मुसलमानों को लेकर राजनीति नई नहीं है. अल्पसंख्यक समुदाय को लुभाने के लिए अलग-अलग राजनीतिक दल खुद को उनका हमदर्द बताते रहते हैं, लेकिन इन सभी दलों में असली हमदर्द कौन है, इसे लेकर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के नेता और हैदराबाद सांसद असदुद्दीन ओवैसी की राय अलग है. ओवैसी का मानना है कि सभी दलों ने अल्पसंख्यकों का बंटाधार किया है.


टीवी 9 भारतवर्ष के एक कार्यक्रम में जब हैदराबाद सांसद से सवाल किया गया कि अखिलेश यादव, ममता बनर्जी, राहुल गांधी और मायावती में अल्पसंख्यकों का हमदर्द कौन है? इसके जवाब में ओवैसी ने कहा, सभी ने अल्पसंख्यक समाज बेड़ा गर्क किया है. किसी ने डराकर, किसी ने मुस्कराकर, किसी ने मुशायरे और कव्वाली कराकर तो किसी ने गोल टोपी पहनकर हमें लालीपॉप दे दिया. 


अखिलेश यादव को मुसलमानों का सबसे ज्यादा वोट मिला- ओवैसी


अखिलेश यादव को लेकर ओवैसी ने कहा, उत्तर प्रदेश की तारीख में मुसलमानों का इतना वोट कभी किसी पार्टी को नहीं मिला, जितना उनको (2022 में) मिला, तो भी बीजेपी तो नहीं हरा पाएगा. अब उनके ही विधायक का पेट्रोल पंप तोड़ा जाता है तो वो बोल नहीं पाते. 


ओवैसी ने बताया, ममता बनर्जी के बंगाल में मुसलमान बेहाल


ममता बनर्जी का जिक्र करते हुए एआईएमआईएम नेता ने कहा, आप कभी पश्चिम बंगाल जाकर मुसलमानों का सोशल और शैक्षिक स्तर देख आइए. मालदा और मुर्शिदाबाद में मुस्लिम महिलाओं की उंगलियां देखिए. बीड़ी बना-बनाकर जल गई हैं. मालदा, मुर्शिदाबाद के ग्राउंड वाटर में आर्सेनिक की मात्रा डब्ल्यूएचओ के तय मानक से ज्यादा है.


राहुल गांधी पर भी निशाना


राहुल गांधी पर भी ओवैसी ने निशाना साधा. ओवैसी ने सवाल किया कि क्या राहुल गांधी की पार्टी के ही मुख्यमंत्री जीबी पंत के समय में ही बाबरी मस्जिद का मसला शुरू नहीं हुआ? क्या ताले उस समय नहीं खोले गए जब आपके पिताजी प्रधानमंत्री थे? मस्जिद जब शहीद की तो आपकी ही पार्टी के प्रधानमंत्री थे? इनकी ही सरकार में 1986 में 350 मुसलमानों को गोली मार दी गई.


मायावती को बताया बेहतर


मायावती को लेकर ओवैसी ने कहा, वे इन तीनों से ज्यादा उनकी इज्जत करते हैं. वो जब मुख्यमंत्री बनीं तो उन्होंने दलितों को पहचान और राजनीतिक ताकत दिलाई, लेकिन अफसोस है कि उन्होंने भी कुछ चीजों पर साफ स्टैंड नहीं लिया, इसीलिए वे आज कमजोर हैं. जिस दिन वे साफ स्टैंड लेंगी, उत्तर प्रदेश में उनको फायदा होगा.


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