Amritpal Singh Parents Reaction: वारिस पंजाब दे के चीफ अमृतपाल सिंह को रविवार (23 अप्रैल) को पंजाब के मोगा (Moga) जिले के रोडे गांव से गिरफ्तार किया गया. खालिस्तान (Khalistan) समर्थक अमृतपाल करीब 35 दिनों से फरार चल रहा था. पुलिस महानिरीक्षक सुखचैन सिंह गिल ने बताया कि 30 वर्षीय अमृतपाल को सुबह 6:45 बजे गिरफ्तार किया गया. पुलिस कर्मियों ने उसे रोडे गांव में घेर लिया था जिसके बाद उसके पास बचने का कोई रास्ता नहीं बचा. 


गिरफ्तारी पर प्रतिक्रिया देते हुए अमृतपाल सिंह की मां बलविंदर कौर ने कहा कि हमने खबर देखी और पता चला कि उसने सरेंडर कर दिया है. उन्हें अपने बेटे पर गर्व है क्योंकि वह एक शेर है, और उसने योद्धा की तरह सरेंडर किया. हम कानूनी लड़ाई लड़ेंगे और हम जल्द से जल्द उससे मिलेंगे भी. वहीं अमृतपाल सिंह के पिता तरसेम सिंह ने दावा किया कि उनका बेटा नशे के खिलाफ लड़ रहा है. 






"नशे के खिलाफ काम कर रहा हैं बेटा"


अमृतपाल सिंह के पिता ने कहा कि हमें टीवी के माध्यम से पता चला कि अमृतपाल ने सरेंडर किया. अगर सरेंडर करने की बात होती तो वह इधर भी किया जा सकता था, लेकिन जो ड्रामा होना था वह हो गया. हमें मान महसूस हो रहा है कि उसने सिख रूप में सरेंडर किया. हम केस लड़ेंगे क्योंकि वह कौम के लिए काम कर रहा था. वह नशे के खिलाफ काम कर रहा था, लोगों को बचाने का काम कर रहा था. जो नौजवानों को बचा रहा था सरकार उसको बदनाम कर रही है. सरकार नशा खत्म करने वाले को खत्म कर रही है. 


असम के डिब्रूगढ़ ले जाया गया


अमृतपाल को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के तहत असम के डिब्रूगढ़ ले जाया गया है. अमृतपाल और उसके साथियों पर विभिन्न वर्गों के बीच वैमनस्य पैदा करने, हत्या का प्रयास करने, पुलिसकर्मियों पर हमला करने और लोकसेवकों के काम में बाधा पैदा करने से जुड़े कई आपराधिक मामले दर्ज हैं. अमृतपाल सिंह पहले भी दो बार पुलिस को झांसा देकर फरार हो गया था.


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