Crakk Review: विद्युत जामवाल ,अर्जुन रामपाल ,नोरा फतेह और एमी जैक्सन की फिल्म Crakk एक्शन का एक अच्छा डोज है. फिल्म ठीक ठाक है इतनी उम्मीद से मत जाइएगा लेकिन हां मल्टी कास्ट की जगह अगर फिल्म में सिर्फ विद्युत होते तो शायद फिल्म और बेहतर होती. एक्शन फिल्म और स्क्विड गेम जैसी चीजों के फैन हैं तो ये फिल्म आपके लिए है. विद्युत के एक्शन से ही फिल्म में जान आई है. अर्जुन रामपाल और विद्युत जामवाल के फाइट सिक्वल ने फिल्म को संभालने की कोशिश की जिसमें कहीं न कहीं कामयाब भी हुए हैं . लेकिन अगर टिकट खरीदेंगे तो सोच समझ कर खरीदिएगा क्योंकि फिल्म में विद्युत के अलावा कुछ नहीं है ।


कहानी
ये कहानी दो भाइयों की है जिन्हें खतरों से खेलने का शौक होता है. विद्युत और उनके भाई वर्चुअल गेमिंग 'Maidaan' का हिस्सा बनना चाहते हैं जिसमें जान का खतरा है लेकिन अपने बड़े भाई जो इस गेम में पहले ही जान गंवा चुका है उसका और अपना सपना पूरा करने सब छोड़ सिद्धू (विद्युत जामवाल) Maidaan में अपने आप को साबित करने निकल जाता है. Maidaan का कर्ता-धर्ता देव (अर्जुन रामपाल) है जो पूरा गेम कंट्रोल करता है. पैट्रिका नोवाक (एमी जैकसन) पुलिस हैं जो देव का सिक्रेट प्लान जानती हैं जिसके बीच में विद्युत फंस जाते हैं और अपने गेम से भटक जाते हैं और अपने भाई की मौत की वजह जानने में लग जाते हैं. बाद में विद्युत यानि सिद्धू को गेम में खेलने का मौका मिलता है लेकिन तब भी वो अपने भाई की मौत का कारण ढूंढने में अपने जान लगा देते हैं और उसकी मौत का बदला लेने के लिए तैयार रहते हैं. इस बीच आलिया (नोरा फतेही) जो Maidaan की सोशल मीडिया इनफ्लूएंसर हैं उन्हें और सिद्धू (विद्युत) को एक दूसरे से प्यार हो जाता है लेकिन आलिया सच्चे प्यार को साबित करने के लिए देव को छोड़ सिद्धू का साथ देती हैं. रेस के  तीन राउंड के बाद देव और सिद्धू की लाजवाब फाइट होती है जिसने सबका दिल जीत लिया.


कैसी है फिल्म
फिल्म ठीक ठाक है ज्यादा उम्मीद मत लगायेगा लेकिन इस फिल्म की वजह से विद्युत की फैन फॉलोविंग पक्का बढ़ने वाली है, क्योंकि विद्युत और अर्जुन जब शर्टलेस हुए थे थिएटर में लड़कियां पागल हो रही थी. लेकिन अगर लड़के नोरा के लिए जा रहे हैं तो इस बार नोरा का चार्म थोड़ा हल्का पड़ गया इसलिए नोरा की वो 'Haye Garmi' वाली छवि दिमाग में मत रखियेगा.


एक्टिंग
विद्युत फिल्म की जान हैं, उनसे जिस तरह के एक्शन की आपको उम्मीद होगी वो आपको पर्दे पर बेहतरीन तरह से दिखेगा. नोरा का स्क्रीन टाइम कम है उसमें भी हर समय उनका एक ही एक्सप्रेशन है, वहीं एमी जैकसन की एक्टिंग नहीं बल्कि उनका एक्शन शानदार है. साथ ही अर्जुन रामपाल की एक्टिंग विद्युत के आगे थोड़ी हल्की पड़ गई लेकिन उन्होंने अपने किरदार को अंत तक अच्छे से निभाया है.


डायरेक्शन
फिल्म का डायरेक्शन आदित्य दत्त ने किया है और Crakk जैसी फिल्म के लिए विद्युत और बाकी कास्ट एक अच्छा सिलेक्शन है, जो एक बढ़िया डायरेक्टर ही चुन सकता है. फिल्म में कहीं न कहीं बेमतलब का एक्शन भी देखने को मिलेगा जिसकी कुछ खास जरुरत नहीं थी. लेकिन फिर भी एक्शन के दीवानों के लिए आदित्य वो सब लाए हैं जो वो देखना चाहते हैं


कुल मिलाकर फिल्म एक बार तो जरूर देखनी चाहिए.