Parivartini Ekadashi 2021 Date: हिंदू पंचांग के अनुसार भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि 16 सितंबर को शुरू हो रही है. हिंदू धर्म शास्त्र में भादो शुक्ल की एकादशी को परिवर्तनी एकादशी के नाम से जाना जाता है. धार्मिक मान्यता है कि इस तिथि को भगवान विष्णु चतुर्मास के शयन के दौरान अपने करवट बदलते हैं. अर्थात अपनी शयन की स्थिति में परिवर्तन करते हैं. इस लिए इसे परिवर्तनी एकादशी { Parivartini Ekadashi} कहते हैं. इसे जलझूलनी एकादशी और पद्म एकादशी के नाम से भी जाना जाता है.


हिंदू पंचांग के अनुसार सूर्य देव अपनी राशि परिवर्तित करके कन्या राशि में प्रवेश करेंगे. इससे कन्या संक्रांति का निर्माण होगा. ज्योतिष के अनुसार, सूर्य जब एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करते हैं तो उसे संक्रांति कहा जाता है, चूंकि 17 सितंबर को सूर्य अपनी जगह बदल कर कन्या राशि में प्रवेश करेंगे इसलिए यह कन्या संक्रांति होगा. ऐसे में इस बार की परिवर्तनी एकादशी {Parivartini Ekadashi} कन्या संक्रांति में होगी.



2021 कन्या संक्रान्ति फलम्



  • कन्या संक्रान्ति पुण्य काल मुहूर्त

  • कन्या संक्रान्ति शुक्रवार, सितम्बर 17, 2021 को

  • कन्या संक्रान्ति पुण्य काल - 06:07 एएम से 12:15 पीएम

  • अवधि - 06 घण्टे 08 मिनट

  • कन्या संक्रान्ति महा पुण्य काल – 17 सितंबर को सुबह 06:07 एएम से 08:10 एएम

  • अवधि - 02 घण्टे 03 मिनट


परिवर्तनी एकादशी व्रत कब?


पंचांग के अनुसार एकादशी तिथि 16 सितंबर 2021 दिन बृहस्पतिवार को सुबह 09 बजकर 39 मिनट से शुरू होगी 17 सितंबर दिन शुक्रवार को सुबह 08 बजकर 08 मिनट तक रहेगी. तदोपरांत द्वादशी तिथि का प्रारंभ होगा. पंचांग के अनुसार भादो शुक्ल की एकादशी तिथि 16 सितंबर को पूरे दिन रहेगी लेकिन इस दिन का सूर्योदय एकादशी तिथि के पूर्व हुआ है ऐसे में उदया तिथि की मान्यता के अनुसार परिवर्तिनी एकादशी का व्रत 17 सितंबर, दिन शुक्रवार को रखा जाएगा.