Mahabharat, Shikhandi: महाभारत में केवल युद्ध ही नहीं बल्कि इसमें धर्म, नीति, राजनीति, ज्ञान, विज्ञान, शास्त्र, योग, इतिहास, आदि का संपूर्ण समावेश है. भीष्म पितामह को महाभारत का मुख्य पात्र माना जाता है.


महाभारत के युद्ध में भीष्म पितामह भले ही अर्जुन के बाणों की शर शय्या पर आ गए लेकिन उनकी मृत्यु की वजह कोई और ही था. इसका नाम था शिखंडी. महाभारत में शिखंडी रहस्यमय पात्र माना गया है. कौन था शिखंडी, जिसकी वजह से भीष्म पितामह को मृत्यु शैय्या पर लेटना पड़ा. आइए जानते हैं.


कौन था शिखंडी ?



महाभारत के अनुसार शिखंडी पुर्नजन्म में अंबा नाम की राजकुमारी थी, जिसने भीष्म की मृत्यु की कामना से शिखंडी रूप में दोबारा जन्म लिया था. धर्म ग्रंथ के अनुसार भीष्म ने हस्तिनापुर के सर्वप्रथम राजा और छोटे भाई विचित्रवीर्य के विवाह के लिए काशीराज की तीन पुत्रियों अंबा, अंबिका और अंबालिका को हरण कर लिया था. जब भीष्म को पता चला कि अंबा राजा शाल्व को प्यार करती है तो उन्होंने उसे राजा शाल्व के पास भेज दिया लेकिन राजा शाल्व ने अम्बा ठुकरा दिया.


भीष्म की मृत्यु के लिए शिव ने दिया शिखंडी को वरदान


हताश होकर अंबा परशुराम के पास पहुंची और भीष्म से बदला लेने का आग्रह किया. परशुराम जी ने अंबा को भीष्म से विवाह की सलाह दी लेकिन भीष्म ने आजीवन ब्रह्मचारी रहने के नाते शादी करने से इनकार कर दिया. अंबा के साथ हुए अन्याय के बाद परशुराम जी भीष्म से युद्ध करने पहुंच गए, लेकिन भीष्म ने उन्हें पराजित कर दिया. चारों ओर से निराशा में छाई अंबा ने आखिरकार शिव की शरण ली. उसने अपने तप से शिव को प्रसन्न किया और वरदान मांगा कि मांगा कि इच्छामृत्यु का वर पाए भीष्म की मृत्यु का कारण वह बने. शिव ने कहा कि यह अगले जन्म में ही संभव हो सकेगा.


अगले जन्म में ऐसे स्त्री से पुरुष बना शिखंडी


अंबा ने भीष्म से बदला लेने के लिए अपना जीवन समाप्त कर दिया. अगले जन्म में अंबा ने शिखंडी के रूप में राजा द्रुपद के यहां जन्म लिया. राजा ने राजकुमारी का पालन पुरुष की तरह ही किया था. युवास्थ में आने पर एक यक्ष ने अपना पुरुषत्व शिखंडी को दे दिया जिससे वह पुरुष बन गई थी. महाभारत युद्ध के समय


ऐसे हुई भीष्म पितामह की मृत्यु


जब युद्ध में वह घड़ी आई कि भीष्म को हरा पाना असंभव हो गया तब श्री कृष्ण ने शिखंडी को युद्ध में उतारा. भीष्म पितामह ने स्त्रियों पर शस्त्र नहीं उठाने की प्रतिज्ञा की थी, क्योंकि शिखंडी स्त्री से पुरुष बना था, इस वजह से भीष्म ने अपने शस्त्र रख दिए. ऐसे में अर्जुन ने शिखंडी को ढाल बनाकर भीष्म को अपने तीरों से छलनी कर दिया. ऐसे शिखंडी भीष्म पितामह की मृत्यु का कारण बना.


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