सर्दियों का मौसम आते ही गाजर के हलवे की याद अपने आप आने लगती है. आमतौर पर लोग लाल गाजर का हलवा बनाते हैं, लेकिन अगर इस बार आप कुछ अलग और खास ट्राई करना चाहते हैं तो काली गाजर का हलवा आप बना सकते हैं. इसका रंग जितना शाही लगता है, स्वाद और खुशबू भी उतनी ही खास होती है. काली गाजर से बना हवा गाढ़ा, मलाईदार और घी की खुशबू से भरपूर होता है, जिसे एक बार खाने के बाद बार-बार खाने का मन करता है. ऐसे में चलिए आज हम आपको बताते हैं कि घर पर आप काली गाजर का टेस्टी हलवा कैसे बना सकते हैं.
काली गाजर का हलवा क्यों है खास?
काली गाजर देखने में अनोखी होती है और उससे बना हलवा भी आम हलवे से अलग लगता है. पकाने के दौरान इसका रंग और भी गहरा हो जाता है और दूध में घी के साथ मिलकर इसका फ्लेवर काफी रीच हो जाता है. यही वजह है कि काली गाजर का हलवा खाने में शाही मिठाई जैसा एहसास देता है.
काली गाजर का हलवा बनाने के लिए सामग्री
- काली गाजर-500 ग्राम
- दूध-500 मिलीलीटर
- चीनी-100 से 150 ग्राम (स्वाद अनुसार)
- घी-3 से 4 बड़े चम्मच
- हरी इलायची-4 से 5 (पिसी हुई)
- कटे हुए मेवे -2 से 3 बड़े चम्मच (काजू, बादाम, पिस्ता)
हलवा बनाने की आसान रेसिपी
सबसे पहले काली गाजर को अच्छी तरह धोकर छील लें और बारीक कद्दूकस कर लें. जितनी बारीक गाजर कद्दूकस होगी, हलवा उतना ही अच्छा बनेगा. अब एक गहरी कढ़ाई या नॉन स्टिक पैन में दूध डालकर मीडियम फ्लेम पर गर्म करें. जब दूध हल्का गर्म हो जाए तो उसमें कद्दूकस की हुई काली गाजर डाल दें और धीमी में आंच पर पकने दें. अब कुछ समय बाद गाजर दूध में अच्छे से गलने लगेगी और मिश्रण गाढ़ा होने लगेगा. इस दौरान हलवे को लगातार चलाते रहे, ताकि वह नीचे से चिपके नहीं. अब इसमें घी डालें और अच्छे से मिला लें, घी डालते ही हलवे की खुशबू और स्वाद दोनों बढ़ जाते हैं. वहीं जब दूध लगभग सूखने लगे तब इसमें स्वादानुसार चीनी डालें. काली गाजर आम गाजर के मुकाबले थोड़ी कम मीठी होती है. इसलिए जरूरत लगे तो चीनी थोड़ी ज्यादा भी डाली जा सकती है. इसके बाद पिसी हुई इलायची डालें. लास्ट में आप कटे काजू, बादाम और पिस्ता डालकर हलवे को 2 से 3 मिनट और पकाएं. जब कढ़ाई में घी अलग दिखने लगे तब समझ लीजिए, हलवा पूरी तरह तैयार हो चुका है.
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