इन दिनों नेपाल अपने नए 100 रुपये के नोट को जारी करने को लेकर काफी सुर्खियों में है. जिसकी वजह इन नए नोट पर भारत की कुछ जगहों के चित्र होना है. भारत के विदेश मंत्री सुब्रह्मण्यम जयशंकर ने भारतीय क्षेत्रों वाले मानचित्र वाले 100 रुपये के नए नोट छापने के नेपाल के एकतरफा फैसले की आलोचना की है. ऐसे में अब सवाल उठता है कि आखिर जिन भारतीय क्षेत्रों के नक्शे को नेपाल ने इन नए नोटों पर छापा है असल में उस जगह है क्या? चलिए जानते हैं.


नेपाल के नए नोट में जिन-जिन जगहों की फोटो, असल में वहां क्या?


दरअसल नेपाल में 100 रुपए के नए नोट छपने वाले हैं. इस पर देश का एक नक्शा भी छापा जाएगा. न्यूज एजेंसी PTI के अनुसार, इस मैप में भारत के वो 3 इलाके भी दिखाए जाएंगे, जिन्हें नेपाल अपना बताता आया है. जिनमें लिपुलेख, लिंपियाधुरा और कालापानी शामिल हैं. इन इलाकों को लेकर भारत-नेपाल के बीच लगभग 34 साल से विवाद रहा है.


भारत, नेपाल और चीन सीमा से सटे इस इलाके में हिमालय की नदियों से मिलकर बनी एक घाटी है, जो नेपाल और भारत में बहने वाली काली या महाकाली नदी का उद्गम स्थल मानी जाती है. इस इलाके को कालापानी भी कहा जाता है. यहीं पर लिपुलेख दर्रा भी है. यहां से उत्तर-पश्चिम की तरफ कुछ दूरी पर एक और दर्रा मौजूद है, जिसे लिंपियाधुरा कहा जाता है.


कैसे शुरू हुआ दोनों देशों का विवाद?


साल 2020 में दिल्ली की ओर से मानसरोवर यात्रा के लिए धारचूला से लिपुलेख तक कई नई सड़कें बनाई गई थीं. इस कार्य के बाद काठमांडू सरकार नाराज हो गई. इसके बाद नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली नेपाल का एक नया नक्शा लेकर आए.


इस नक्शे में नेपाल ने भारत के 370 वर्ग किलो मीटर क्षेत्र को अपने क्षेत्र में जोड़कर दिखाया था. इसके अलावा कालापानी, लिपुलेख और लिंपियाधुरा को भी नेपाल में शामिल करने के लिए नेपाल की संसद की ओर से एक संविधान संशोधन विधेयक पारित किया गया. जिसके बाद दोनों देशों के बीच किसी भी तरह की बातचीत बंद हो गई.


यह भी पढ़ें: आखिर इतनी ऊंचाई पर होने पर भी हवाई जहाज में कैसे चलता है इंटरनेट और कैसे मिलते हैं सिग्नल?