Tax on Cryptocurrency:  क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency)  में निवेश से होने वाली कमाई पर टैक्स ( Tax) लग सकता है. सरकार ( Government ) क्रिप्टोकरेंसी से होने वाली कमाई ( Income from Cryptocurrency) को टैक्स के दायरे में लाने के लिए आयकर कानूनों ( Income Tax Act) में बदलाव करने पर विचार कर रही है. माना जा रहा है कि अगले साल एक फरवरी, 2022 को पेश किये जाने वाले बजट ( General Budget)  में क्रिप्टोकरेंसी में निवेश से होने वाली कमाई पर टैक्स लगाये जाने की घोषणा की जा सकती है. 


बजट में टैक्स का प्रावधान


Revenue Secretary  तरुण बजाज ( Tarun Bajaj) ने कहा कि, कुछ लोग पहले से ही क्रिप्टोकरेंसी से होने वाली आय पर कैपिटल गेन टैक्स ( Capital Gain Tax) का भुगतान कर रहे हैं, जीएसटी के संबंध में भी कानून बहुत स्पष्ट है. उन्होंने कहा कि "मैं समझता हूं कि, पहले से ही लोग इस पर कर चुका रहे हैं. लेकिन इस होने वाला इनकम वास्तव में बहुत बढ़ गया है, तो हम देखेंगे कि कानून की स्थिति में कुछ बदलाव ला सकते हैं या नहीं. लेकिन यह बजट के जरिये ही तय होगा. 


बजट में क्रिप्टो ट्रेडिंग के लिए टीसीएस (Tax Collected at Source) ) का प्रावधान पेश किए जाने की उम्मीद है. अगर आप पैसा कमाते हैं तो आपको टैक्स देना होगा, हमें पहले ही कुछ टैक्स मिल चुके हैं. कुछ ने इसे एक संपत्ति के रूप में माना है और इस पर कैपिटल गेन टैक्स का भुगतान किया है. 


क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग में शामिल लोगों को फैसिलिटेटर, ब्रोकरेज और ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म के रूप में वर्गीकृत किए जाने और जीएसटी के तहत टैक्स लगाने पर बजाज ने कहा,  जीएसटी कानून में स्पष्ट है, अगर कोई ब्रोकर जो लोगों की मदद कर रहा है और ब्रोकरेज शुल्क ले रहा है उससे जीएसटी वसूला जाएगा. 


शीतकालीन सत्र में क्रिप्टोकरेंसी पर बिल 


सरकार 29 नवंबर से शुरू होने वाले संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान क्रिप्टोकरेंसी पर एक बिल पेश कर सकती है. भ्रामक दावों और विज्ञापनों के जरिये क्रिप्टोकरेंसी के प्रति लोगों को लुभाया जा रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ( Prime MInister Narendra Modi)की अध्यक्षता में क्रिप्टोकरेंसी ( Cryptocurrency) को लेकर बड़ी बैठक में युवाओं को गुमराह करने वाले अति-लुभावने और गैर-पारदर्शी विज्ञापन (over- promising & non-transparent advertising) पर चिंता जताई गई और ये तय किया गया इन विज्ञापनों पर नकेल कसी जाएगी.


रेग्युलेट करने की मांग


क्रिप्टोकरेंसी ( Cryptocurrency) को लेकर वित्त मंत्रालय से जुड़ी संसदीय स्थाई समिति ( Parliament Standing Committee on Finance) की बैठक में ज्यादातर सदस्यों ने क्रिप्टोकरेंसी को रेग्युलेट करने की मांग की है.  बैठक में कुछ सदस्यों ने क्रिप्टोकरेंसी में निवेशकों के निवेश की सुरक्षा को लेकर चिंता भी जाहिर की है.


आरबीआई गर्वनर भी जता चुके हैं चिंता 


इससे पहले आरबीआई ( Reserve Bank Of India) ने भी क्रिप्टोकरेंसी के खिलाफ अपनी दृढ़ राय को बार-बार दोहराया है. आरबीआई गर्वनर शक्तिकांत दास ( Shaktikanta Das) ने पिछले हफ्ते ही कहा था कि इससे देश की व्यापक आर्थिक ( Macro Economic) और वित्तीय स्थिरता ( Financial Stability) को गंभीर खतरा पैदा हो सकता है. 


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