लक्ष्मी और भगवान विष्णु का स्वरूप माना जाता है.
लाने और नकारात्मक ऊर्जा से बचाने वाला माना जाता है.
जो मोक्ष और निर्वाण की ओर ले जाती है.
इसके पत्तों का उपयोग धार्मिक अनुष्ठानों में शुद्ध जल तैयार करने के लिए किया जाता है.
सर्व सौभाग्यवर्धिनी, आधि व्याधि हरा नित्यं, तुलसी त्वं नमोस्तुते मंत्र पढ़ सकते हैं.
तन्नो वृन्दा प्रचोदयात् या ॐ हृषीकेशाय नमः जैसे मंत्रों का जाप भी कर सकते हैं.
नारायणस्य पूजार्थं चिनोमि त्वां नमोस्तुते मंत्र पढ़ें.
ॐ सुभद्राय नमः का जाप करना शुभ होता है.
विष्णु और माता लक्ष्मी प्रसन्न होते हैं.