जब बात हो सुरक्षित निवेश की, जहां न शेयर बाजार का उतार-चढ़ाव हो, न कोई जोखिम और साथ ही टैक्स में भी राहत मिले, तो बहुत से लोग सीधे पोस्ट ऑफिस की योजनाओं की ओर मुड़ते हैं. इन्हीं योजनाओं में से एक है नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट यानी NSC, जो आज भी मध्यम वर्ग और नौकरीपेशा लोगों के बीच उतनी ही लोकप्रिय है जितनी पहले हुआ करती थी. खास बात ये है कि इसमें सरकार की गारंटी होती है, यानी निवेश पूरी तरह सुरक्षित है और साथ में ब्याज भी अच्छा मिलता है. यही वजह है कि मौजूदा आर्थिक हालातों में एक बार फिर लोग NSC की ओर रुख कर रहे हैं.

इस तरह से होगा सवा दो लाख का फायदा

नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट (NSC) भारत सरकार द्वारा समर्थित एक छोटी बचत योजना है, जिसे देशभर के डाकघरों के जरिए चलाया जाता है. इसका मकसद आम लोगों को छोटी-छोटी रकम से लंबी अवधि की बचत के लिए प्रेरित करना है. फिलहाल इसकी ब्याज दर 7.7% सालाना है, जो हर साल कंपाउंड होती है लेकिन पैसा सिर्फ मैच्योरिटी यानी 5 साल बाद ही मिलता है. यानी अगर आपने 1 लाख का NSC लिया है, तो 5 साल बाद आपको करीब 1.45 लाख मिलेगा वो भी पूरी तरह सुरक्षित और बिना किसी बाजार जोखिम के.

5 साल में होगा इतने लाख का फायदा

मान लो एक बार में आपने 5 लाख NSC में लगाए और ब्याज दर है 7.7% सालाना (अभी की दर के अनुसार). इसमें ब्याज हर साल कम्पाउंड होता है यानी "ब्याज पर भी ब्याज" जुड़ता है, लेकिन सारा पैसा एक साथ 5 साल बाद मिलता है. आइए विस्तार से समझते हैं.

साल साल की शुरुआत में रकम सालाना ब्याज(7.7%) साल के अंत में कुल रकम
1 5,00,000 रुपये 38,500 5,38,500
2 5,38,500 रुपये 41,464 5,79,964
3 5,79,964 रुपये 44,657 6,24,621
4 6,24,621 रुपये 48,095 6,72,716
5 6,72,716 रुपये 51,797 7,24,513

5 साल बाद आपके 5 लाख रुपये की NSC 7,24,513 रुपये की हो जाएगी.

यानि कुल फायदा = 2,24,513 रुपये का होगा.

इस तरह से हो सकेगा 5 साल में करीब 5 लाख का फायदा

अगर आप इस योजना में 5 लाख की जगह 10 लाख रुपये का निवेश करते हैं तो आपकी कुल फायदे वाली रकम 7.7 प्रतिशत की ब्याज दर के साथ करीब 4 लाख 48 हजार रुपये हो जाएगी. NSC में कोई अधिकतम निवेश सीमा नहीं है, लेकिन 80C में टैक्स छूट सिर्फ 1.5 लाख तक ही मिलती है. न्यूनतम निवेश सिर्फ 1,000 है, जिससे कोई भी आम आदमी इसे शुरू कर सकता है. आप इसे अकेले खोल सकते हैं, जॉइंट अकाउंट में ले सकते हैं या फिर अपने बच्चे के नाम पर भी खाता खुलवा सकते हैं, जिसे अभिभावक संचालित करते हैं.

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