Uttarakhand News: उच्च शिक्षा (Higher Education) की गुणवत्ता को सुधारने के लिए दो दिवसीय चिंतन शिविर का आयोजन किया गया. इस चिंतन शिविर में उत्तराखंड के सभी विश्वविद्यालयों के कुलपति और महाविद्यालयों के प्राचार्य मौजूद रहे. दो दिवसीय चलने वाले इस चिंतन शिविर का शुभारंभ प्रदेश के सीएम पुष्कर सिंह धामी (Pushkar Singh Dhami) ने किया. इस दौरान उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत और एनएएसी के डायरेक्टर शामिल हुए.


इस चिंतन शिविर का मुख्य उद्देश्य सभी विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारना है जिसमें एनएएसी की प्रत्यायन के लिए कार्यशाला भी आयोजित की गई. इस कार्यशाला में यह आंकलन किया गया कि प्रदेश के सभी 35 विश्वविद्यालयों में यूजीसी के मानकों के आधार पर सभी चीजें उपलब्ध हैं या नहीं. साथ ही सभी 119 डिग्री कॉलेजों में भी एनएएसी के मानकों की समीक्षा की गई. 


सीएम धामी ने कहा, 2025 तक होंगे बड़े बदलाव
आपको बता दें कि प्रदेश में अधिकांश कॉलेजों में एनएएसी के मानकों के अनुसार कई चीजें उपलब्ध नहीं हैं. ऐसे सभी विश्वविद्यालयों और कॉलेजों को यह भी निर्देश जारी किए हैं कि एनएएसी मानकों के आधार पर खुद को संचालित करें. इस मौके पर सीएम पुष्कर सिंह धामी ने उच्च शिक्षा विभाग को बधाई दी और उन्होंने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में 2025 तक बड़े बदलाव किए जाएंगे. वहीं उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने भी कहा कि इस चिंतन शिविर में 12 सत्र आयोजित किए जाएंगे जिनमें अलग-अलग विषयों पर मंथन होगा.  साथ ही इस शिविर में यह भी तय किया जाएगा कि जब उत्तराखंड की स्थापना के 25 साल पूरे होंगे तो उच्च गुणवत्ता की शिक्षा यहां पढ़ने वाले छात्रों को मिल सके. देश और विश्व की रैंकिंग में उत्तराखंड के कॉलेजों को टॉप रैंकिंग में शामिल करवाए जाने पर भी मंथन किया जाएगा. 


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