UP News: गाजियाबाद (Ghaziabad) के मोदीनगर (Modinagar) में बीते दिन स्कूल बस में हुई एक छात्र की मौत के बाद मामला इतना बढ़ गया कि परिजनों को सड़क जाम करनी पड़ी. जिसके बाद उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) सरकार ने मामले को गंभीरता से लेते हुए परिवहन विभाग पर कार्रवाई की है. बताया जा रहा है जिस स्कूल बस में हादसा हुआ वह 2019 से अनफिट थी. उसका फिटनेस टेस्ट नहीं कराया गया था. लेकिन उसके बावजूद भी वह सड़कों पर फर्राटे भर रही थी.
जिसके बाद मोदीनगर के एक स्कूल में स्कूल बस की लापरवाही के चलते एक छात्र की दर्दनाक मौत हो जाती है. अब ऐसे में यूपी सरकार ने गाजियाबाद के दो एआरटीओ को सस्पेंड किया है. दोनों एआरटीओ पर अपने काम में लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए सस्पेंड किया गया है.
कितनी बस हुई सीजअब ऐसे में गाजियाबाद परिवहन विभाग की तरफ से भी उन स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की गई है, जो स्कूल अपने बसों की फिटनेस टेस्ट समय पर नहीं करवा रहे थे. जिसके चलते गुरूवार को 29 बसों का चालान कर सीज किया गया है. साथ ही वहीं शुक्रवार की दोपहर तक 12 बसों का चालान और सीज किया गया है.
कितनी बसें है अनफिटएक रिपोर्ट के मुताबिक गाजियाबाद में 166 स्कूलों की 765 बसें हैं, जो पूरी तरह से अनफिट हैं और उनका कोई फिटनेस टेस्ट नहीं कराया गया है. इनमें 11 स्कूल नामचीन हैं, जो गाजियाबाद के साथ-साथ देश में भी काफी विख्यात हैं. लेकिन इनकी स्कूलों बसों का कई सालों से कोई भी फिटनेस्ट टेस्ट नहीं कराया गया है. गाजियाबाद आरटीओ अरुण कुमार बताते हैं कि उन्होंने ऐसे स्कूलों के खिलाफ नोटिस भी जारी किया है. इसके अलावा एक ऐप लॉन्च करने की तैयारी की जा रही है. जिसका नाम एक हजार हाथ एक हजार आंख होगा. जिसमें सभी अनफिट बसों का नंबर होगा. जिसे बच्चों के अभिभावक अपने फोन से डाउनलोड कर सकेंगे और साथ ही उसकी शिकायत आरटीओ ऑफिस कर सकेंगे. जिसके बाद आरटीओ विभाग उन बसों पर कार्रवाई कर सकेगा और समय रहते मोदीनगर जैसे हादसों को रोकने में कामयाब भी हो सकेगा.
कौन सा ऐप होगा लांचबहरहाल देर से ही सही लेकिन दुरुस्त आए यह कहावत इन पर ठीक बैठती है. जिस तरह से बसों में हादसे होते आए हैं उससे कहीं ना कहीं स्कूल जाने वाले बच्चों की जिंदगी पर एक सवालिया चिन्ह खड़ा होता है. लेकिन समय-समय पर कार्रवाई ना होने के चलते इस तरह के हादसे होते रहते हैं. अब ऐसे में देखना होगा कि गाजियाबाद परिवहन विभाग की तरफ से लांच होने वाले एक हजार आंख एक हजार हाथ ऐप कितना काम कर साबित होता है.
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