Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) पुलिस के आतंकवाद निरोधक दस्ते (ATS) ने ISIS के अलीगढ़ मॉड्यूल से जुड़े चार आरोपियों को अलग-अलग इलाकों से गिरफ्तार किया है. एटीएस मुख्यालय ने शनिवार को एक बयान जारी कर यह यह जानकारी दी. एटीएस के अनुसार शुक्रवार को भदोही (Bhadohi) जिले के कोतवाली क्षेत्र के अंबरनीम मोहल्ले के राकिब इमाम अंसारी (29) को अलीगढ़ से और शनिवार को संभल जिले के सीकरी गेट क्षेत्र के जाट कॉलोनी निवासी नवेद सिद्दीकी (23), कोटला पंजू सराय के मोहम्मद नोमान (27) और नखास क्षेत्र के दीपा सराय निवासी मोहम्मद नाजिम को संभल (Sambhal) से गिरफ्तार किया गया. उनके कब्जे से ISIS का प्रतिबंधित साहित्य, मोबाइल फोन और पेन ड्राइव बरामद किया गया है.

बयान के अनुसार राकिब अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) से बीटेक और एमटेक है जो अलीगढ़ के ही सिविल लाइन थाना क्षेत्र के बंदरबाग में रहता था. संभल जिले का नवेद सिददकी भी एएमयू से बीएससी कर रहा था, जबकि नोमान ने एएमयू से बीए (ऑनर्स) कर रखा है. नाजिम अपने साथी नोमान के जरिये एएमयू के आईएसआईएस मॉड्यूल से सक्रिय तौर पर जुड़ा.

यूपी एटीएस को मिली थी षडयंत्र की जानकारीएटीएस के अपर पुलिस महानिदेशक (एडीजी) मोहित अग्रवाल ने बताया था कि पिछले कई दिनों से सूचना मिल रही थी कि कुछ लोग आईएसआईएस की विचारधारा से प्रेरित होकर शपथ ले चुके हैं और वे खिलाफत कायम करने के लिए देश विरोधी षड़यंत्र कर रहे हैं. एडीजी का कहना था कि ये लोग चरमपंथी हैं और संगठन के अपने वरिष्ठों के निर्देशों पर अपने जैसी वैचारिक धारणा रखने वाले लोगों को एक साथ जोड़कर आतंकी जिहाद की सेना बना रहे हैं. उन्होंने कहा था कि ये लोग राज्य में किसी बड़ी घटना की साजिश रच रहे हैं.

पहले हुई गिरफ्तारियों से जुड़े हैं इनके तारअग्रवाल के अनुसार आईएसआईएस की गतिविधियों के संबंध में साक्ष्य संकलन करने के बाद एटीएस थाने में 3 नवंबर को भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं में मामला दर्ज किया गया था. इसके बाद अलग-अलग तारीखों में आईएसआईएस से जुड़े अब्दुल्ला अर्सलान, माज बिन तारिक और वजीउद़दीन को गिरफ्तार किया गया था. इनसे प्रारंभिक पूछताछ में शुक्रवार और शनिवार को पकड़े गए चारों आरोपियों के बारे में एटीएस टीम को पुख्ता जानकारी मिली, जिसके आधार पर उन्हें गिरफ्तार किया गया.

इस मकसद से बांट रहे थे जिहादी साहित्यएटीएस के बयान में कहा गया है कि गिरफ्तार आरोपी प्रतिबंधित आतंकी संगठन आईएसआईएस से जुड़े थे और वे जिहाद कर देश की चुनी गई सरकार को पलटने और शरिया कानून लागू करने के मकसद से अपने संगठन के साहित्य को अपनी जैसी मानसिकता वाले लोगों में वितरित करते थे. उन्हें आईएसआईएस से जोड़ रहे थे. बयान के अनुसार इस अभियान में ये लोग गोपनीय तरीके से जिहादी प्रशिक्षण देने और देश विरोधी षड्यंत्र में भी शामिल थे और प्रदेश में किसी बड़ी घटना की साजिश रच रहे थे.

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