अयोध्या में तीन मंजिला राम मंदिर का निर्माण इस साल दिसंबर तक पूरा हो जाएगा. मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा ने गुरुवार (4 जनवरी) को यह जानकारी दी. विस्तृत क्षेत्र में फैले मंदिर परिसर में अन्य ढांचे भी होंगे. मिश्रा ने पीटीआई-भाषा से एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘हम सभी भगवान राम द्वारा कर्तव्य निर्वहन में प्रदर्शित की गई मर्यादा का पालन कर रहे हैं.’’


अयोध्या में 22 जनवरी को मंदिर के उद्घाटन की तैयारियां की जा रही हैं और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी इसमें शामिल होंगे. श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र न्यास ने समारोह में 7,000 से अधिक लोगों को आमंत्रित किया है. निर्माण कार्य के बारे में पूछे जाने पर मिश्रा ने कहा, ‘‘अभी, भूतल का निर्माण हुआ है, पहली और दूसरी मंजिल का निर्माण दिसंबर 2024 तक पूरा हो जाएगा.’’


'चुनौतियों का हल अपने आप हो जाता है'
निर्माण कार्य में चुनौतियों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘प्रतिदिन चुनौतियां आती हैं. लेकिन, मुझे लगता है कि चुनौतियों का हल अपने आप हो जाता है. अगली सुबह, हम देखते हैं कि समाधान खुद ब खुद हो गया है.’’ न्यास के महासचिव चंपत राय ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि कोई भी कार्य इस तरह से नहीं किया जाएगा जो नियमों, सिद्धांतों, मर्यादा पुरषोत्तम राम के जीवन के खिलाफ हो.


'मंदिर का भवन 1000 साल टिकने की उम्मीद हैं'
अध्यक्ष नृपेंद्र  मिश्रा ने कहा, ‘‘वह बहुत स्पष्ट हैं. सरकार को जो कुछ भी कर दिया जाना है, दिया जाएगा. इसलिए हम उस मर्यादा का पालन कर रहे हैं.’’ मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि श्रद्धालु निर्माण की गुणवत्ता और इसके टिकाऊपन से संतुष्ट होंगे. मिश्रा ने कहा कि वे इसके कम से कम 1,000 साल टिकने की उम्मीद कर रहे हैं इसलिए ‘‘हमारी जिम्मेदारियां भी बढ़ गई हैं.’’


तीन मूर्तियां की जा रही हैं तैयार 
मूर्ति चुनने के विषय पर उन्होंने कहा कि इस बारे में निर्णय कर राय साझा करेंगे. तीन मूर्तियां तैयार की जा रही हैं और उनमें से एक को मंदिर में स्थापित किया जाएगा. हाल में एक आपात बैठक में, न्यास के सदस्यों ने तीनों मूर्तियों को एक क्रम प्रदान किया था. उन्होंने कहा कि राय उपयुक्त समय पर इस बारे में निर्णय साझा करेंगे.


भविष्य में न्यास लेगा निर्णय
मिश्रा ने कहा, ‘‘यह स्पष्ट है कि न्यास तीनों मूर्तियों को लेगा. और भविष्य में, इन मूर्तियों का कैसे उपयोग किया जाएगा, इस बारे में न्यास निर्णय लेगा. इन तीन मूर्तियों में से एक को मंदिर के गर्भगृह में स्थापित किया जाएगा.’’ उन्होंने कहा कि अगले चार-पांच महीनों में कम से कम 75,000 से एक लाख लोगों के मंदिर की यात्रा करने का अनुमान है.


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