Umesh Pal Death Anniversary: संगम नगरी प्रयागराज के चर्चित उमेश पाल और दो सरकारी गनर शूटआउट को आज 24 फरवरी (शनिवार) एक साल पूरा हो गया है. पहली बरसी उमेश पाल के परिवार वालों ने श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया है. सुबह घर पर पूजा और हवन के बाद श्रद्धांजलि सभा में लोगों की बड़ी तादाद उमड़ी. परिजनों के साथ बड़ी संख्या में राजनीतिक और सामाजिक संगठनों से जुड़े लोग भी शामिल हैं. उमेश पाल के चित्र पर फूल चढ़ाकर लोग नम आंखों से श्रद्धांजलि दे रहे हैं. कार्यक्रम स्थल पर उमेश पाल के दोनों पुलिस कांस्टेबल की भी तस्वीर लगाई गई है. शाम को केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल भी श्रद्धांजलि सभा में पहुंचेंगे. उमेश पाल के परिजन पहली बरसी पर खासे भावुक नजर आ रहे हैं.


उमेश पाल और दो सरकारी गनर शूटआउट


पत्नी जया पाल और मां शांति पाल की आंखों के आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. परिजनों का कहना है कि उमेश पाल की कमी हमेशा खलेगी. हालांकि परिजनों ने शूटआउट में शामिल ज्यादातर आरोपियों को मिट्टी में मिलाए जाने पर सीएम योगी आदित्यनाथ का आभार जताया है. परिजनों के मुताबिक मुश्किल वक्त में सीएम योगी ने एक अभिभावक की तरह मदद मुहैया कराई है. अब योगी सरकार से उम्मीद है कि प्रयागराज का पुलिस प्रशासन आगे भी सहायता देगा.


पहली बरसी पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन


साल भर पहले 24 फरवरी 2023 को कचहरी से लौटते समय सुलेम सराय में घर के बाहर उमेश पाल की गोलियों से भूनकर हत्या कर दी गई थी. हमलावरों ने फिल्मी अंदाज में वारदात को अंजाम दिया था. उमेश पाल की सुरक्षा में तैनात दो सरकारी गनर राघवेंद्र सिंह और संदीप निषाद भी मारे गए थे. हमलावरों ने दहशत फैलाने के लिए बमबाजी भी की थी. वारदात सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई थी. उमेश पाल बसपा विधायक राजू पाल हत्याकांड के गवाह थे. शूटआउट से पूरे प्रदेश में सनसनी फैल गई थी. 


शूटआउट का आरोप माफिया ब्रदर्स अतीक अहमद और अशरफ पर लगा था. माफिया अतीक अहमद का बेटा भी सीसीटीवी में गोलियां चलाते नजर आया था. घटना के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा के फ्लोर पर कहा था कि माफिया को मिट्टी में मिला देंगे. मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद एक्शन शुरू हुआ. पुलिस ने सबसे पहले असद के ड्राइवर अरबाज़ को धूमनगंज थाना क्षेत्र के नेहरू पार्क में 27 फरवरी को मुठभेड़ में मार गिराया था. दूसरा एनकाउंटर 6 मार्च को उमेश पाल पर पहली गोली चलाने वाले विजय चौधरी उर्फ उस्मान का हुआ.


13 अप्रैल को झांसी में यूपी एसटीएफ ने एनकाउंटर में अतीक के बेटे असद और शूटर गुलाम को ढेर कर दिया. 15 अप्रैल को पुलिस कस्टडी में माफिया अतीक अहमद और अशरफ की हत्या कर दी गई. तीन हमलावरों ने मेडिकल कराने ले जाने के दौरान गोलियों से भून कर माफिया बंधुओं की हत्या कर दी. अभी वारदात में शामिल पांच-पांच लाख के इनामी तीन शूटर्स बमबाज गुड्डू मुस्लिम, साबिर और अरमान फरार हैं. साजिशकर्ता माफिया अतीक अहमद की पत्नी और पचास हजार की इनामी शाइस्ता परवीन भी फरार चल रही है. अशरफ की पत्नी जैनब फातिमा और बहन आयशा नूरी भी वांटेड लिस्ट में है. लेकिन पुलिस की पकड़ से दूर है.


पुलिस ने उमेश पाल हत्याकांड में लगभग एक दर्जन आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा है. आरोपियों के खिलाफ पुलिस अदालत में चार्जशीट दाखिल कर चुकी है. ट्रायल कोर्ट जल्द आरोप तय करने वाली है. पुलिस की मजबूत पैरवी के चलते अब तक किसी भी आरोपी की जमानत अर्जी मंजूर नहीं हुई है. आरोपियों में अतीक अहमद का बहनोई डॉक्टर अखलाक अहमद, मुस्लिम बोर्डिंग हास्टल से गिरफ्तार सदाकत खान, अतीक के वकील खान सौलत हनीफ, वकील विजय मिश्रा और अन्य शामिल हैं. लखनऊ जेल में बंद अतीक अहमद का बड़ा बेटा मोहम्मद उमर और दूसरे नंबर का बेटा अली अहमद भी आरोपी बनाए गए हैं. अतीक अहमद के नौकर और ड्राइवर समेत कई अन्य आरोपी भी उमेश पाल हत्याकांड की साजिश के आरोप में जेल की हवा खा रहे हैं. 


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