UP News: पूर्वांचल के दो माफियाओं का मंगलवार को गाजीपुर (Ghazipur) कोर्ट में आमना- सामना होगा. 21 साल बाद ऐसा पहली बार होगा कि मुख्तार अंसारी (Mukhat Ansari) और बृजेश सिंह (Brajesh Singh) आमने-सामने होंगे. दोनों की गाजीपुर स्थित स्पेशल एमपी एमएलए कोर्ट (MP-MLA Court) में पेशी मंगलवार को ही होनी है. बृजेश सिंह आरोपी के रूप में कटघरे में खड़ा होगा. जबकि मुख्तार अंसारी मुख्य गवाह के रूप में बृजेश सिंह को पहचानने की कोशिश करेगा.


दरअसल, 21 साल पुराने उसरी चट्टी कांड में दोनों अदालत में मंगलवार को पेश होंगे. बांदा जेल से पेशी पर निकलने से पहले मुख्तार अंसारी ने अपनी जान को खतरा बताया है. माफिया के परिवार ने इस संबंध में चिट्ठी भेजकर सुरक्षा की गुहार लगाई है. ये चिट्ठी चीफ जस्टिस आफ इंडिया, चीफ जस्टिस इलाहाबाद हाईकोर्ट, यूपी सरकार, बांदा और गाजीपुर प्रशासन को भेजी गई है. चिट्ठी में पेशी पर लाने और ले जाने के लिए पैरामिलिट्री फोर्स के कमांडो तैनात किए जाने की मांग की है. 


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कब हुआ था उसरी चट्टी कांड?
चिट्ठी में पेशी के दौरान बुलेट प्रूफ जैकेट दिए जाने और बुलेटप्रूफ एंबुलेंस मुहैया कराए जाने की भी गुहार लगाई है. बुलेट प्रूफ एंबुलेंस ना होने पर किसी दूसरे बुलेट प्रूफ वाहन की मांग की गई है. चिट्ठी में कहा गया है कि माफिया बृजेश सिंह कभी भी मुख्तार अंसारी की हत्या करा सकता है. मुख्तार और बृजेश सिंह के आमने-सामने होने के चलते इंटेलिजेंस एजेंसियों को भी अलर्ट कर दिया गया है. बांदा जेल से लेकर गाजीपुर तक सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं. 


कोर्ट में अगर मुख्तार अंसारी ने बृजेश सिंह को हमलावर के रूप में पहचान लिया तो बृजेश सिंह की मुश्किलें बढ़ेंगी. 15 जुलाई 2001 को गाजीपुर के मोहम्मदाबाद थाना क्षेत्र में उसरी चट्टी कांड हुआ था. मुख्तार अंसारी के काफिले पर ट्रक में छिपे लोगों ने जानलेवा हमला किया था. हमले में दो लोगों की मौत हुई थी और मुख्तार समेत एक दर्जन लोग घायल हुए थे. मुख्तार अंसारी ने मोहम्मदाबाद थाने में बृजेश सिंह और त्रिभुवन सिंह समेत 17 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी. उसरी चट्टी कांड में माफिया बृजेश सिंह को तीन अगस्त 2022 को इलाहाबाद हाई कोर्ट से जमानत मिली हुई है.