Maha Kumbh Stampede: महाकुंभ में बुधवार रात मची भगदड़ पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सवाल उठाए हैं. अखिलेश ने योगी सरकार को घेरते हुए पांच अपील की है. कन्नौज सांसद ने लिखा- महाकुंभ में अव्यवस्थाजन्य हादसे में श्रद्धालुओं के हताहत होने का समाचार बेहद दुखद है. श्रद्धांजलि!
सपा नेता ने सरकार से अपील करते हुए कहा- हमारी सरकार से अपील है कि: गंभीर रूप से घायलों को एअर एंबुलेंस की मदद से निकटतम सर्वश्रेष्ठ हॉस्पिटलों तक पहुंचाकर तुरंत चिकित्सा व्यवस्था की जाए. मृतकों के शवों को चिन्हित करके उनके परिजनों को सौंपने और उन्हें उनके निवास स्थान तक भेजने का प्रबंध किया जाए. जो लोग बिछड़ गये हैं, उन्हें मिलाने के लिए त्वरित प्रयास किये जाएं. हैलीकाप्टर का सदुपयोग करते हुए निगरानी बढ़ाई जाए. सतयुग से चली आ रही ‘शाही स्नान’ की अखण्ड-अमृत परंपरा को निरंतर रखते हुए, राहत कार्यों के समानांतर सुरक्षित प्रबंधन के बीच ‘मौनी अमावस्या के शाही स्नान’ को संपन्न कराने की व्यवस्था की जाए.
महाकुंभ में भगदड़ पर मायावती बोलीं- यह घटना अति-दुःखद व चिन्तनीय
उन्होंने महाकुंभ में आए लोगों से भी अपील की. यूपी के पूर्व सीएम ने कहा- श्रद्धालुओं से भी हमारी अपील है कि वो इस कठिन समय में संयम और धैर्य से काम लें और शांतिपूर्वक अपनी तीर्थयात्रा संपन्न करें. सरकार आज की घटना से सबक लेते हुए श्रद्धालुओं के रुकने, ठहरने, भोजन-पानी व अन्य सुविधाओं के लिए अतिरिक्त प्रबंध करे.हादसे में आहत हुए सभी लोगों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना.
अखाड़ों के स्नान पर असमंजसउधर अखाड़ों के स्नान को लेकर फिलहाल असमंजस है. अखाड़ा परिषद् के अध्यक्ष रवींद्र पुरी ने सुबह हादसे के बाद कहा था कि स्नान रद्द कर दिया गया है. सुबह 8 बजे के बाद रवींद्र पुरी ने कहा कि हम स्नान करेंगे और सरकार से बात चल रही है.
बता दें कुंभ मेले की परंपरा के मुताबिक, सन्यासी, बैरागी और उदासीन अखाड़े भव्य जुलूस के साथ संगम तट पर पहुंचकर एक तय क्रम में अमृत स्नान करते हैं जिसमें क्रम में पहले स्थान पर पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी अमृत स्नान करता है.इससे पूर्व, मेला प्रशासन ने मंगलवार को ही श्रद्धालुओं के लिए परामर्श जारी किया था.वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (कुंभ) राजेश द्विवेदी ने श्रद्धालुओं से आग्रह किया कि सभी घाट संगम घाट हैं और वे जिस घाट पर पहुंच जाएं वहीं स्नान करें. उन्होंने श्रद्धालुओं से अफवाहों से बचने की अपील की. उल्लेखनीय है कि मौनी अमावस्या से एक दिन पूर्व मंगलवार को रात आठ बजे तक 4.83 करोड़ लोगों ने स्नान किया, जबकि इससे पूर्व मकर संक्रांति पर 3.5 करोड़ और पौष पूर्णिमा पर 1.7 करोड़ लोगों ने संगम में डुबकी लगाई थी.