Ram Mandir News: अयोध्या (Ayodhya) में शुरू हुई राम मंदिर ट्रस्ट (Ram Mandir Trust) की दो दिवसीय बैठक में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से जुड़े कई अहम निर्णय लिए गए. प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से पहले रामलला की मूर्ति के समक्ष अक्षत (चावल) से पूजा होगी. उस पूजित अक्षत को 1 जनवरी से 15 जनवरी 2024 तक भारत के 5 लाख गांवों तक भेजा जाएगा.


हर राम भक्त तक पहुंचेगी रामलला की प्राण प्रतिष्ठित फोटो
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद उनकी मूर्ति की फोटो ली जाएगी और उस फोटो को राम मंदिर के प्रसाद के साथ लोगों को दिया जाएगा. जिससे प्रतिष्ठित रामलला की फोटो भारत के कोने-कोने तक हर राम भक्त के घर तक पहुंच सके. प्राण प्रतिष्ठा के समय रामलला कौन सा वस्त्र धारण करेंगे, उनका श्रृंगार कैसा होगा, पूजा पद्धति और मौजूदा पूजा पद्धति में बढ़ोतरी क्या होगी, पूजा के समय कौन-कौन से मंत्र का प्रयोग होगा. इन सब के लिए एक धार्मिक कमेटी बनाई गई है. इन सब बिंदुओं पर विचार विमर्श के बाद राम मंदिर ट्रस्ट को बताएगी और इसी के बाद इस पर निर्णय लिया जाएगा.  


भगवान के सम्मुख होगा अक्षत चावल का पूजन
श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि प्राण प्रतिष्ठा से पहले भगवान के सम्मुख अक्षत का पूजन होगा. अक्षत यानि जिसका क्षय नहीं है टूटा हुआ नहीं है. चावल और वो पूजित चावल देशभर में एक सिस्टम के अंतर्गत वितरित होंगे और निवेदन किया जाएगा कि अनंद उत्सव के दिन प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम अपने अपने मन्दिरों में मनाएं.


दस करोड़ भक्तों तक पहुंचेगी रामलला की तस्वीर
ट्रस्ट की तरफ से चंपत राय ने बताया कि प्राण प्रतिष्ठा के पश्चात भगवान का जो विग्रह प्रतिष्ठित होगा उसका फोटो लिया जाएगा और उस फोटो को छपवाया जाएगा. अयोध्या आने वाले प्रत्येक दर्शनार्थ को वह फोटो प्रसाद के साथ दिया जाएगा ताकि एक दो साल में ही हिंदुस्तान के कम से कम 10 करोड़ लोगों के घरों में वह चित्र पहुंच जाए.


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