Jauhar University Land Row: सपा के दिग्गज नेता आजम खान की जौहर यूनिवर्सिटी को दी गई जमीन की लीज यूपी सरकार ने रद्द कर दी है. जिसके बाद मौलाना मोहम्मद अली जौहर ट्रस्ट ने सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की. सुप्रीम कोर्ट में जौहर यूनिवर्सिटी ट्रस्ट ने उत्तर प्रदेश की तरफ से दी गई यूनिवर्सिटी को जमीन की लीज रद्द करने के फैसले को चुनौती दी थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट में महाधिवक्ता द्वारा ट्रस्ट से संबंधित मूल रिकॉर्ड पेश किए गए. ट्रस्ट के अधिवक्ता अमित सक्सेना के तरफ से मूल रिकार्ड देखने के लिए कोर्ट से समय दिए जाने की मांग की गई थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट में आज मामले की बहस पूरी नहीं हुई. 11 दिसंबर को मामले की अगली सुनवाई दोपहर 2 बजे से होगी. 


सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद मामले की सुनवाई इलाहाबाद हाईकोर्ट में हो रही है. यूपी सरकार की तरफ से दाखिल SIT रिपोर्ट का हवाला दिया गया है. सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के एक्टिंग चीफ जस्टिस की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष "अर्जेंट एडमिशन" के लिए सूचीबद्ध करने का निर्देश दिया था. सुप्रीम कोर्ट ने सपा नेता आजम खान के मौलाना मोहम्मद अली जौहर ट्रस्ट की तरफ से दायर याचिका पर तत्काल सुनवाई करने का निर्देश दिया था. यूपी की तत्कालीन सपा सरकार में रामपुर के मुर्तजा उच्चतर माध्यमिक विद्यालय का भवन समेत पूरा कैंपस 99 साल की लीज पर मौलाना मोहम्मद जौहर ट्रस्ट को दिया था. एक्टिंग चीफ जस्टिस मनोज कुमार गुप्ता और जस्टिस क्षितिज शैलेंद्र की डिवीजन बेंच में मामले की सुनवाई हुई. 


जौहर यूनिवर्सिटी की अगली सुनवाई 11 दिसंबर को


बता दें कि सपा के दिग्गज नेता आजम खान की जौहर यूनिवर्सिटी को यूपी सरकार ने जमीन लीज पर दी थी और योगी सरकार ने जमीन की लीज को खत्म कर दिया है. जिसके बाद मौलाना मोहम्मद अली जौहर ट्रस्ट ने सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की है. जौहर ट्रस्ट ने यूपी सरकार की तरफ से यूनिवर्सिटी को दी गई जमीन की लीज को रद्द करने के लिए चुनौती दी है. इस मामले की सुनवाई आज यानी शुक्रवार (8 दिसंबर) को इलाहाबाद हाई कोर्ट में सुनवाई हो रही थी लेकिन बहस पूरी नहीं हो पाई. जिसके बाद कोर्ट ने फैसला देते हुए कहा कि मामले की अगली सुनवाई के लिए 11 दिसंबर को 2 बजे से होगी.  


ये भी पढ़ें: Global Investors Summit 2023: पीएम मोदी ने सिल्क्यारा टनल के हीरो गब्बर सिंह नेगी से की मुलाकात, पीठ थपथपाते हुई की तारीफ