राजस्थान में अंता विधानसभा सीट पर 11 नवंबर को उपचुनाव के लिए मतदान होना है. इस बीच रविवार (9 नवंबर) की शाम से प्रचार-प्रसार का शोर तो थम गया. इसी बीच पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का एक बयान काफी चर्चा में है. उनके हर बयान के अपने मायने भी होते हैं. आज भी उनका एक बयान नरेश मीणा के हवाले से निकला. जिसकी अब हर तरफ चर्चा हो रही है. उन्होंने नरेश मीणा को लेकर कहा है कि पता नहीं वे किसके हाथों में खेल रहे हैं. अशोक गहलोत के इस तरह के बयानों की गूंज राजनीतिक गलियारों में हमेशा रहती है.
प्रचार के आखिरी दिन अशोक गहलोत का बयान
पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत आज चुनावी सभा के बाद मीडिया से मुख़ातिब हुए. इस दौरान उन्होंने नरेश मीणा को लेकर कहा, “पता नहीं ये किनके हाथों में खेल रहा है.” कौन इसको गाइड कर रहा है यह समझ से परे है और जो इसको गाइड कर रहा है, वो इसका दुश्मन है, हितेशी नहीं हो सकता.
अशोक गहलोत के अब इस बयान के सियासी मायने निकाले जा रहे हैं, क्योंकि अशोक गहलोत के लिए ये कहा जाता है कि वे ऐसे ही कुछ नहीं बोलते उनके हर बयान के अपने मतलब होते हैं.
अशोक गहलोत के बयान पर क्या बोले राजनीतिक जानकार?
राजनीतिक जानकारों का कहना है कि इस बयान को सचिन पायलट से जोड़कर देखा जा रहा है क्योंकि नरेश मीणा खुद अपनी सभाओं में सचिन पायलट की खुले मंच से तारीफ करते हुए दिखाई दिए थे.
वहीं दूसरी तरफ नरेश मीणा कांग्रेस के नेता चाहे फिर वो अशोक गहलोत हो या फिर गोविंद सिंह डोटासरा सभी पर तीखे जुबानी हमले कर रहे थे और अब अशोक गहलोत का ये बयान सामने आया है, जिसमें वे साफ तौर पर ये इशारा कर रहे हैं कि नरेश मीणा किसी और नेता के इशारे पर चुनाव लड़ रहा है.
कांग्रेस में दिख रही अंदरूनी गुटबाजी
वहीं कांग्रेस में अंदरखाने जो गुटबाजी है उससे इनकार नहीं किया जा सकता, क्योंकि कुछ दिन पहले अंता में एक सभा के दौरान सचिन पायलट ने भी इशारों इशारों में उपचुनाव के टिकट वितरण को लेकर ये साफ कर दिया था कि इस टिकट वितरण में उनकी कोई भूमिका नहीं है.
उन्होंने कहा था कि यह टिकट तो प्रदेश अध्यक्ष जी और रंधावा जी की टिकट है, सचिन पायलट के इस बयान की उस दौरान काफी चर्चा रही थी. हालांकि उसके बाद सचिन पायलट पार्टी के पक्ष में रोड शो करने भी पहुंचे थे. लेकिन अब एक बार फिर अशोक गहलोत का यह बयान सियासी हलचल पैदा करने वाला है.