कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पृथ्वीराज चव्हाण ने मंगलवार (16 दिसंबर) को कहा कि सेना के आकार के मामले में भारत पाकिस्तान से श्रेष्ठ है लेकिन 'ऑपरेशन सिंदूर' ने स्पष्ट रूप से साबित कर दिया है कि भविष्य के संघर्ष काफी हद तक हवाई ताकत और मिसाइलों से लड़े जाएंगे.

Continues below advertisement

पृथ्वीराज चव्हाण ने कहा कि अगर सेना की संख्या की बात की जाए तो भारत के पास लगभग 12 लाख से 15 लाख सैनिक हैं, जबकि पाकिस्तान के पास पांच से छह लाख सैनिक हैं. इसके बावजूद उन्होंने बड़े पैमाने की पैदल सेना की आवश्यकता पर सवाल उठाया. उनका कहना था कि अब जमीनी स्तर पर बड़े पैमाने पर युद्ध होना मुश्किल है और इसके बजाय भविष्य के संघर्ष हवाई ताकत और मिसाइल हमलों तक सीमित होंगे.

भविष्य में लड़ाई हवाई और मिसाइल हमलों से लड़ी जाएगी- पृथ्वीराज चव्हाण

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पृथ्वीराज चव्हाण ने 'ऑपरेशन सिंदूर' का उदाहरण देते हुए बताया कि इस ऑपरेशन के दौरान भारतीय सेना का जमीनी मोर्चे पर बहुत सीमित योगदान रहा. उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सेना केवल एक किलोमीटर भी आगे नहीं बढ़ी. लड़ाई पूरी तरह हवाई और मिसाइल हमलों तक सीमित रही. यही भविष्य के युद्धों का स्वरूप होगा.

Continues below advertisement

सैनिकों को किसी और उपयोगी कार्य में लगाया जाए- चव्हाण

पृथ्वीराज चव्हाण ने बड़े आकार की सेना रखने की आवश्यकता पर सवाल उठाते हुए कहा कि 12 लाख सैनिकों की सेना होने के बावजूद उनका इस्तेमाल अब सीमित होगा. उनका सुझाव था कि इन सैनिकों को किसी और उपयोगी कार्य में लगाया जाए.

तकनीक और हथियारों पर निर्भर होंगे भविष्य के युद्ध

उन्होंने यह भी कहा कि भविष्य के युद्ध तकनीक और हथियारों पर निर्भर होंगे. बड़े पैमाने की पैदल सेना के बजाय हवाई शक्ति, मिसाइल क्षमता और आधुनिक तकनीक ही निर्णायक भूमिका निभाएगी. साथ ही कहा कि देश को भविष्य के खतरों और चुनौतियों के अनुसार अपनी सैन्य रणनीति में बदलाव करना चाहिए.

ये भी पढ़िए- बक्सर में हिंदू शख्स ने पेश की मिसाल, इकलौते बेटे की याद में कब्रिस्तान को दान दी 1 बीघा जमीन