Gwalior Road Caved: ग्वालियर में करोड़ों की लागत से बनी वीवीआईपी सड़क मध्य प्रदेश का उदाहरण बन गई है. सिंधिया महल के पास बनी नई सड़क 15 दिन के भीतर 7 बार धंस चुकी है, जिससे न सिर्फ स्थानीय लोगों को परेशानी हो रही है, बल्कि यह करोड़ों की लागत से बने निर्माण कार्य की गुणवत्ता पर भी बड़ा सवाल बनकर सामने आई है. यह सड़क एजी ऑफिस पुल से चेतकपुरी और जयविलास पैलेस गेट तक जाती है. बारिश में ही सड़क खराब हो गई और कई जगह गड्ढे हो गए.

Continues below advertisement

सिर्फ पंद्रह दिन पहले बनकर तैयार हुई यह सड़क अब सात जगहें धंस चुकी है. कई वाहन इसके अंदर फंस गए, और लोगों की जान को खतरा भी हुआ. कुछ दिनों में ही सड़क ऐसी धसकी कि गहरी सुरंग बन गईं. इन सुरंगों में पूरी कार भी समा सकती है. इन्हें देखकर लोगों के होश उड़ गए. जब इसकी जानकारी सामने आई, तो नगर निगम ने तुरंत गड्ढे भरने का काम शुरू कर दिया. कमिश्नर मौके पर पहुंचे और कलेक्टर रुचिका चौहान ने विशेषज्ञों की टीम बनाकर जांच का आदेश दिया.

सामग्री की खराब गुणवत्ता का इस्तेमालयह सड़क पिछले दो साल से खस्ता हालत में थी, लेकिन मुख्यमंत्री के दौरे के वक्त अधिकारियों ने इसे कुछ ही घंटों में बना दिया. सड़क के निर्माण में अधिकारी और ठेकेदार ने लापरवाही दिखाई, और घटिया सामग्री का प्रयोग किया.

Continues below advertisement

हाल ही में चेतकपुरी रोड पर गिट्टी से भरा डंपर सड़क में धंस गया, जिससे ट्रैफिक जाम की स्थिति बन गई. यह वही चेतकपुरी सड़क है जिसे महज़ 15 दिन पहले बनाया गया था. स्थानीय लोगों का कहना है कि बरसात से पहले ही यदि सड़कें धंसने लगें तो करोड़ों खर्च क्यों?

प्रशासन की कार्रवाईकलेक्टर रुचिका चौहान ने इस घटना को गंभीरता से लेते हुए दो सदस्यीय तकनीकी जांच समिति गठित की है और पांच दिन में रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए हैं.

जांच बिंदुओं में शामिल हैं:• सड़क निर्माण की तकनीकी स्वीकृति• निर्माण में इस्तेमाल मटेरियल की गुणवत्ता• भराव कार्य और सीवर लाइन डालने की प्रक्रिया• ठेकेदार की जवाबदेही और निरीक्षण व्यवस्था