MP Elephant Death: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व (Tiger Reserve) में बाघों ने हाथी का शिकार किया है. सोमवार सुबह दो साल के हाथी का पार्क में शव मिला. माना जा रहा है कि बांधवगढ़ सहित प्रदेश के सभी छह नेशनल पार्क में संभवतः पहली बार बाघों ने किसी हाथी का शिकार किया है. अपुष्ट सूत्रों का कहना है कि एक साथ छह बाघों ने मिलकर हाथी का शिकार किया है.पार्क प्रबंधन द्वारा हाथी की मौत के बाद निरीक्षण किया गया. डॉक्टरों की टीम द्वारा पोस्टमॉर्टम किए जाने के बाद शव को प्रबंधन की उपस्थिति में डिस्पोज किया गया.


बांधवगढ़ के क्षेत्र संचालक राजीव मिश्रा के मुताबिक हाथी का शव वन परिक्षेत्र पनपथा कोर के बीट चितरांव बड़वाह मूड़ा में मिला. शव के गले पर बाघों के दांतों और नाखूनों के गहरे निशान मिले. उसका पिछला हिस्सा काफी हद तक गायब था. क्षेत्र संचालक राजीव मिश्रा के मुताबिक मध्य प्रदेश में हाथी को बाघ द्वारा मारकर खाने का ये संभवतः पहला मामला है. हाथी को घसीटने के निशान भी मिले हैं. उसके बाघ से संघर्ष के निशान भी मिले हैं.



पोस्टमॉर्टम करने वाले डॉक्टर ने दी यह जानकारी
शव का पोस्टमॉर्टम करने वाले वेटरनरी डॉ. नितिन गुप्ता के मुताबिक  कम से कम तीन बाघों ने मिलकर शिकार किया है. शिकार के बाद एक बाघ करीब एक घंटे वहीं बैठा रहा. चौकीदारों ने इसकी पुष्टि की है. हाथी की उम्र 2 साल के आसपास बताई गई है,जबकि लंबाई 134 सेंटीमीटर है. कहा जा रहा है कि इससे पहले कर्नाटक में एक ऐसी घटना हुई थी, लेकिन कभी हाथी के झुंड पर बाघ के हमले की कोई घटना रिकॉर्ड में नहीं आई है.


पहले भी हुए आम लोगों पर हुए हैं बाघों के हमले
मध्य प्रदेश बांधवगढ़ टाइगर में बाघों की संख्या सबसे ज्यादा है. यहां 150 से ज्याफ एडल्ट बाघ है, जबकि शावकों की संख्या 30 के आसपास है. पूरे प्रदेश बात की जाए तो यहां बाघों का आंकड़ा 700 से ऊपर हो चुकी है. बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान में बाघ आसपास के गांवों में मनुष्यों पर भी हमला कर रहे है. पिछले सात महीनों में एक शिक्षक सहित चार लोगों की हत्या में बाघों द्वारा की गई. मैन हंटिंग में शामिल दो बाघ शावकों को पिछले दिनों खिटोली रेंज के पास चार घंटे तक चले ऑपरेशन में पकड़ लिया गया. प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्यजीव) नरेंद्र कुमार के नेतृत्व में चलाए गए अभियान में अधिकारियों, पशु चिकित्सा दलों और मजदूरों सहित सात हाथी और लगभग 70 लोग शामिल थे. इन दो शावकों में से एक द्वारा एक शिक्षक लकड़ा सिंह की हत्या के विरोध में राष्ट्रीय उद्यान के बरही रेंज के अंतर्गत खिटोली गांव में ग्रामीणों ने एक वन चौकी पर हमला कर दिया था.


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