झारखंड की राजधानी रांची पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है. पुलिस ने खुलासा किया है कि राज्य में सक्रिय कुख्यात अपराधियों को पाकिस्तान से ड्रोन के माध्यम से हथियारों की आपूर्ति की जा रही थी. इस मामले में पुलिस ने सुजीत सिन्हा गिरोह और प्रिंस खान गैंग के खतरनाक गठजोड़ का पर्दाफाश किया है.
रांची के सीनियर एसपी राकेश रंजन के नेतृत्व में जांच के दौरान पता चला कि दोनों अपराधी गैंग मिलकर झारखंड और आसपास के राज्यों में रंगदारी, वसूली और भय का माहौल बना रहे थे. पुलिस के अनुसार, जेल में बंद गैंगस्टर सुजीत सिन्हा और विदेश में रहकर गिरोह को संचालित कर रहे प्रिंस खान ने एक दूसरे से हाथ मिला लिया था. जेल के बाहर यह नेटवर्क सुजीत सिन्हा की पत्नी रिया सिन्हा चला रही थी, जो गिरोह की गतिविधियों का पूरा संचालन करती थी.
'अपराधियों द्वारा गठित संगठन को संभाल रही थी रिया सिन्हा'
पुलिस ने बताया कि रांची और कोयलांचल क्षेत्र में हाल के दिनों में जो भी रंगदारी कॉल प्रिंस खान के नाम पर किए गए थे, वे इसी गठजोड़ का नतीजा थे. इतना ही नहीं, अपराधियों द्वारा गठित ‘कोयलांचल शांति सेना’ नामक संगठन को भी रिया सिन्हा ही संभाल रही थी.
रिया सिन्हा समेत चार अन्य अपराधी गिरफ्तार
रांची पुलिस ने छापेमारी कर रिया सिन्हा समेत चार अन्य अपराधियों को गिरफ्तार किया है. पुलिस को जानकारी मिली थी कि रांची रिंग रोड स्थित चतु ओवरब्रिज के पास कुछ अपराधी मौजूद हैं. जब पुलिस ने वहां कार्रवाई की, तो एक गाड़ी से कई हथियार और गोला-बारूद बरामद हुए.
'पाकिस्तान से ड्रोन के माध्यम से भारत में लाई जाती थीं हथियार और गोलियां'
सिटी एसपी पारस राणा ने बताया कि पूछताछ में गिरफ्तार अपराधियों ने खुलासा किया कि हथियार और गोलियां पाकिस्तान से ड्रोन के माध्यम से पंजाब के मोगा जिले के रास्ते भारत में लाई जाती थीं. इसके बाद इन हथियारों का उपयोग रांची सहित देश के अन्य हिस्सों में बड़े व्यापारियों और पूंजीपतियों से रंगदारी वसूली के लिए किया जाता था.
पुलिस का कहना है कि रंगदारी से वसूले गए पैसों का इस्तेमाल फिर से पाकिस्तान से हथियार मंगवाने में किया जा रहा था. रांची पुलिस अब इस अंतरराज्यीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के नेटवर्क की जड़ों तक पहुंचने में जुटी है.