Ganj Market Shimla: हिमाचल प्रदेश की राजधानी में बीते दिनों हुई बारिश ने जमकर तबाही मचाई. बारिश की वजह से न केवल आम जन जीवन प्रभावित हुआ है, बल्कि इसका असर बाजार में भी देखने को मिल रहा है. बाजार में इन दोनों ग्राहकों की आमद भी घट गई है. इसकी वजह से कारोबारी को नुकसान झेलना पड़ रहा है. शिमला के गंज बाजार में कारोबारी पूरा दिन बैठकर ग्राहक का इंतजार करते हैं, लेकिन शाम तक मुश्किल से इक्का-दुक्का ग्राहक ही खरीदारी करने के लिए पहुंच रहा है.

बाजार में घटी ग्राहकों की आमददरअसल, गंज बाजार में न केवल शिमला शहर के ग्राहक खरीदारी करने के लिए आते हैं. बल्कि शहर के साथ लगते ग्रामीण इलाकों से भी यहां लोग खरीदारी के लिए पहुंचते हैं. लगातार हुई बारिश की वजह से बस सेवा प्रभावित है. इसके अलावा ग्रामीण इलाकों में भी सड़क टूटी हुई हैं. इसी वजह से आसपास के लोगों की शहर में आमद घट गई है. शिमला शहर में रहने वाले लोग भी अपनी आसपास की दुकानों से ही खरीदारी कर रहे हैं. ऐसे में गंज बाजार इन दोनों वीरान ही नजर आ रहा है.

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क्या कहते हैं स्थानीय कारोबारी?गंज बाजार में लंबे वक्त से कारोबार कर रहे दीपक श्रीधर ने बताया कि आपदा काल ने कोरोना काल की याद दिला दी है. कोरोना काल के दौरान तो यह पता था की दुकान बंद है और काम नहीं चलेगा. लेकिन इन दोनों तो पूरा दिन दुकान में बैठना भी पड़ रहा है और काम चल भी नहीं रहा. उन्होंने बताया कि गंज बाजार में कारोबारी पहले से ही नुकसान झेल रहे हैं और अब बारिश ने इस नुकसान को कई गुना बढ़ा दिया है. बाजार में आज-कल सिर्फ 20 फीसदी ही काम है. हालांकि उन्होंने उम्मीद जताई है कि धीरे-धीरे स्थिति सामान्य होने के बाद कारोबार एक बार फिर पटरी पर लौट आएगा.

ऐतिहासिक है शिमला का गंज बाजारशिमला का गंज बाजार ऐतिहासिक बाजार है. इसे अनाज मंडी के नाम से भी जाना जाता है. ब्रिटिश शासनकाल के दौरान भी यहां से अनाज की बिक्री हुआ करती थी. इस बाजार का नाम ब्रिटिश अधिकारी एडवर्ड गंज के नाम पर पड़ा था. पहले इस बाजार में केवल अनाज की बिक्री होती थी, लेकिन समय और जरूरत के हिसाब से यहां बदलाव होता चला गया और अब यहां अनाज के साथ मसाले की बिक्री भी होती है.