Himachal Pradesh: पहाड़ी राज्य हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में युवाओं में बढ़ रहा नशे का प्रचलन चिंता का विषय है. आए दिन प्रदेश में नशे से युवाओं की जान जा रही है. स्थिति यह है कि हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण इलाकों तक नशा पहुंच चुका है और इससे युवा पीढ़ी बर्बादी की ओर जा रही है. हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल (Shiv Pratap Shukla) ने नशे के खिलाफ एकजुटता से आगे बढ़ने की बात कही है. उन्होंने कहा कि नशे के खिलाफ नरमी नहीं बरती जानी चाहिए. 


राज्यपाल खुद भी नशे के खिलाफ चलाई जा रही मुहिम का हिस्सा बन रहे हैं. राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने कहा "हिमाचल प्रदेश सरकार में उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री लगातार सख्ती से नशे के खिलाफ आगे बढ़ने की बात कर रहे हैं. सरकार नशे को खत्म करने के लिए अच्छा काम कर रही है. हालांकि हमें यह ढूंढने की जरूरत है कि नशा कहां से आ रहा है? नशे को के स्रोत को खत्म किया जाना बेहद आवश्यक है." राज्यपाल ने कहा कि यह भी देखा जाना चाहिए कि जिन आरोपियों की गिरफ्तारी हो रही है, क्या उनमें स्रोत भी शामिल हैं?



राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने और क्या कहा?


हिमाचल के राज्यपाल ने कहा कि जहां से नशा आ रहा है, वहां चोट किए जाने की जरूरत है. राज्यपाल ने कहा कि नशे के लिए एक गठजोड़ तैयार किया गया है, इसे तोड़ा जाना चाहिए. राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने कहा कि विश्व भर में हिमाचल प्रदेश की पहचान देवभूमि के रूप में है. यहां नशा खत्म किए जाने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को पंचायत स्तर पर प्रतिनिधियों के साथ बैठक करनी चाहिए. राज्यपाल ने कहा कि गांव के लोग बदनामी नहीं झेलना चाहते. ऐसे में प्रधान के साथ बैठक कर योजना तैयार किए जाने की जरूरत है, ताकि इसका असर ग्राउंड जीरो पर नजर आए. राज्यपाल ने कहा कि जब नशे के साथ सभी एकजुटता से आगे बढ़ेंगे, तो इसका सकारात्मक असर होगा.


ये भी पढ़ें-HP News: 'एक तरफ भगवान राम का विरोध, दूसरी ओर उनकी कसम', जानें जयराम ठाकुर ने कांग्रेस पर क्यों साधा निशाना