Surat News: केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि अगले साल स्मार्ट सिटी मिशन (एससीएम) समाप्त होने के बाद शहरों को विकास परियोजनाओं के लिए अपना खुद का फंड बनाना होगा. लोग स्मार्ट शहरों को रहने योग्य पाते हैं, उन्हें अपने करों का भुगतान करना होगा.  पुरी सोमवार को सूरत की अपनी यात्रा के दौरान स्मार्ट सिटीज, स्मार्ट शहरीकरण सम्मेलन का उद्घाटन करने आए थे जिसमें 100 स्मार्ट शहरों के प्रतिनिधि थे. 


'मुझे उम्मीद है कि मिशन एक आंदोलन बन जाएगा'


पुरी ने कहा अगले साल एससीएम समाप्त होने के बाद, मुझे उम्मीद है कि मिशन एक आंदोलन बन जाएगा. स्मार्ट शहरों में विकसित परियोजनाओं और प्रौद्योगिकी को पूरे भारत में दोहराया जाएगा.  यह कहना गलत है कि हर विकास केवल सरकार के साथ ही किया जा सकता है. सूरत नगर निगम ने हाल ही में बांड के माध्यम से पैसा जुटाया है, शहर अपना पैसा खुद जुटाएंगे. पुरी ने कहा, अगर शहर रहने योग्य हैं और लोग इन शहरों में रहने के लिए आते हैं, तो उन्हें कर चुकाना होगा. 


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'1.15 करोड़ घरों में से 60 लाख पूरे हो चुके हैं'


उन्होंने आगे कहा कि गुजरात एक सफल राज्य है क्योंकि यहां के लोग विकास पर ध्यान केंद्रित करते हैं. किफायती आवास योजना के विकास के बारे में बताते हुए, पुरी ने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा यह घोषणा की गई थी कि 2022 तक प्रत्येक भारतीय के पास एक घर होगा और हम इसे पूरा करने जा रहे हैं.  सरकार ने 1.15 करोड़ घरों को मंजूरी दी है, जिनमें से 60 लाख पूरे हो चुके है. 


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