Drone Promotion and Use Policy: गुजरात सरकार ने राज्य के विभागों और संगठनों के बीच ड्रोन के इस्तेमाल को प्रोत्साहन देने के लिए एक नयी नीति पेश की है. राज्य सरकार ने बुधवार को इस नीति को पेश करते हुए कहा कि इससे 25 हजार लोगों को रोजगार मिलने के साथ राज्य में निवेश आकर्षित किया जा सकेगा. गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने गांधीनगर में आयोजित समारोह में ‘ड्रोन प्रचार और उपयोग नीति’ का अनावरण किया. राज्य सरकार ने बयान में कहा, ‘‘इस नीति का उद्देश्य सेवा वितरण के लिए ड्रोन के उपयोग को बढ़ावा देकर विनिर्माण और नवाचार समेत एक सक्रिय ड्रोन पारिस्थितिकी तंत्र को स्थापित करना है.
'25,000 लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे'सरकार ने कहा कि इसके जरिये विभिन्न सार्वजनिक सेवाओं को उन्नत प्रौद्योगिकी के उपयोग के साथ अधिक प्रभावी, लोकप्रिय, कुशल और तेज बनाया जाएगा. बयान के अनुसार, इस नीति से राज्य में प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से 25,000 लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे और ड्रोन सेवाओं के पारिस्थितिकी तंत्र के विकास, संचालन और रखरखाव के लिए निवेश भी आकर्षित होगा. यह नीति पांच साल की अवधि के लिए वैध है. यह राज्य सरकार के विभागों को ड्रोन (दूर से नियंत्रित मानव रहित हवाई वाहनों) के व्यावसायिक उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिए उत्प्रेरक की भूमिका निभाने में मदद करेगी.
किस-किस विभाग में और कैसे होगा उपयोग1- वन विभाग: शेरों की गिनती, वन्यजीव ट्रैकिंग, मानचित्रण और निगरानी, पारिस्थितिक लेखा परीक्षा, अवैध शिकार की रोकथाम2- गृह विभाग: भीड़ प्रबंधन, महत्वपूर्ण स्थापना सुरक्षा, वीवीआईपी सुरक्षा, सीमा और तटीय सुरक्षा, आपदा प्रबंधन, प्रमुख घटनाओं और जुलूसों की सुरक्षा, खोज अभियान, यातायात प्रबंधन3- कृषि, किसान कल्याण और सहकारिता विभाग: कीटनाशकों का छिड़काव, उर्वरक अनुप्रयोग, बीज बुवाई, मिट्टी की गुणवत्ता की निगरानी, मिट्टी के कटाव का सर्वेक्षण आयुक्त, भूविज्ञान और खनन, उद्योग और खान विभाग, भूविज्ञान और खनन के लिए खनन क्षेत्रों की निगरानी, अवैध खनन की रोकथाम, खनिज पट्टों और ब्लॉकों का सर्वेक्षण.4- ऊर्जा और पेट्रोरसायन विभाग: तेल और प्राकृतिक गैस पाइपलाइनों की निगरानी, बिजली लाइनों की निगरानी, तटवर्ती और अपतटीय संपत्तियों की सुरक्षा5- श्रम विभाग, कौशल विकास और रोजगार: पायलट और उपयोगकर्ता प्रशिक्षण.6- स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग: चिकित्सा आपूर्ति और रक्त वितरण7- गुजरात राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण: बचाव और राहत8- शहरी विकास विभाग: शहरी भूमि उपयोग योजना, स्वच्छता सर्वेक्षण9- सिंचाई विभाग : जलाशयों और सिंचाई नहरों का रख-रखाव10- गुजरात प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड: उत्सर्जन की निगरानी11- राजस्व विभाग: जीआईएस आधारित सर्वेक्षण और सर्वेक्षण संख्या का मानचित्रण12- सड़क और भवन विभाग : मरम्मत कार्य का आकलन, चल रही परियोजनाओं की निगरानी आदि.घोषित नीति की प्रमुख विशेषताओं में शामिल हैं
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